
मध्यप्रदेश सरकार ने वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए अपना बजट प्रस्तुत किया है, जिसमें कई महत्वपूर्ण घोषणाओं के साथ राज्य के विकास के लिए नए दिशा-निर्देश तय किए गए हैं। इस बजट में विशेष रूप से महिला सशक्तिकरण, सड़क निर्माण, औद्योगिकीकरण, और जनजातीय वर्ग के विकास पर जोर दिया गया है।
लाडली बहनों को मिलेगा अटल पेंशन योजना का लाभ
महिलाओं के विकास और सशक्तिकरण के लिए सरकार ने एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। लाडली बहनों को अटल पेंशन योजना से जोड़ने का फैसला लिया गया है, जिससे उन्हें पेंशन योजना का लाभ मिलेगा। इसके साथ ही, बैगा-भारिया महिलाओं को पोषण संबंधी सहायता प्रदान की जाएगी, जो उनके जीवन स्तर में सुधार के लिए एक सकारात्मक कदम होगा।
सड़कों और पुलों के विकास पर जोर
मध्यप्रदेश सरकार ने राज्य के इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत करने के लिए इस वर्ष के अंत तक 3500 किलोमीटर नई सड़कें और 70 पुल बनाने का लक्ष्य रखा है। इस योजना का उद्देश्य राज्य के ग्रामीण और शहरी इलाकों को बेहतर जोड़ने के साथ-साथ यातायात व्यवस्था को सुगम बनाना है।
औद्योगिकीकरण और निवेश आकर्षण
बजट में औद्योगिकीकरण, निवेश और रोजगार सृजन पर विशेष ध्यान दिया गया है। सरकार ने स्थानीय उत्पादों को बढ़ावा देने और नई तकनीकों को अपनाने के लिए योजनाएं बनाई हैं। इसके तहत, ड्रोन प्रौद्योगिकी को बढ़ावा देने के लिए एक नई नीति तैयार की जा रही है, जो राज्य में नए उद्योगों की स्थापना और रोजगार सृजन में मदद करेगी।
कमलनाथ की प्रतिक्रिया
वहीं, पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने सरकार के बजट को निराशाजनक और वादाखिलाफी से भरा बताया है। उन्होंने कहा कि बजट में जनता की वास्तविक जरूरतों का ध्यान नहीं रखा गया और यह सिर्फ चुनावी खेल बनकर रह गया है।
जनजातीय वर्ग के विकास और शिक्षा पर जोर
राज्य सरकार ने जनजातीय वर्ग के लिए शिक्षा और विकास के क्षेत्र में बड़े कदम उठाए हैं। सरकार ने यह घोषणा की है कि प्रदेश के जनजातीय बहुल इलाकों में सीएम राइज स्कूल खोले जाएंगे, जो शिक्षा के स्तर को बेहतर बनाने में मदद करेंगे। इसके साथ ही, तकनीकी शिक्षा और अनुसंधान पर भी जोर दिया गया है।
ओंकारेश्वर लोक और कृष्ण पाथेय योजना
मध्यप्रदेश सरकार ने धार्मिक और सांस्कृतिक विकास की दिशा में भी महत्वपूर्ण घोषणाएं की हैं। सरकार ने उज्जैन महाकाल लोक के तर्ज पर ओंकारेश्वर लोक बनाने की योजना बनाई है, जो धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने में मदद करेगा। इसके अलावा, भगवान कृष्ण से संबंधित स्थानों पर कृष्ण पाथेय योजना के तहत 10 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे।
बजट घोषणाएं
मध्यप्रदेश सरकार ने कई अन्य योजनाओं की भी घोषणा की है:
- जल जीवन मिशन: इस योजना के तहत जल आपूर्ति व्यवस्था में सुधार के लिए इस साल 17,133 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे।
- सोलर पावर स्टोरेज सेंटर: मुरैना में पहला सोलर पावर स्टोरेज सेंटर स्थापित किया जाएगा, इसके लिए 19,000 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे।
- सिंहस्थ 2028: सिंहस्थ महाकुंभ के लिए 2,000 करोड़ रुपये का बजट रखा गया है, जिससे सुविधाओं का बेहतर विकास किया जाएगा।
- नगरीय अधोसंरचना विकास: नगर निगमों और पंचायतों में ढांचागत सुधार के लिए 18,700 करोड़ रुपये का बजट रखा गया है, जो पिछले साल से 2,000 करोड़ रुपये अधिक है।
- मुख्यमंत्री वृंदावन ग्राम योजना: इस योजना के तहत 100 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे, जो गांवों में विकास कार्यों को गति देंगे।
- सीएम केयर योजना: मुख्यमंत्री केयर योजना के तहत कैंसर चिकित्सा सुविधाओं को बेहतर बनाया जाएगा।
- कृषि सुधार: किसानों के लिए नई योजनाएं, जैसे मोटे अनाज के लिए योजना और ग्वालियर कृषि विश्वविद्यालय के लिए 40 करोड़ रुपये का बजट रखा गया है।
सड़क निर्माण और रेलवे पुल
मुख्यमंत्री मजरा टोला सड़क योजना के तहत 100 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। इस योजना का उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों की सड़क व्यवस्था को सुधारना है। इसके साथ ही, पांच साल में 1 लाख किलोमीटर सड़क निर्माण का लक्ष्य रखा गया है और 500 रेलवे ब्रिज भी बनाए जाएंगे।
खेल के मैदानों का विकास
प्रदेश की प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में स्थित खेल मैदानों का उपयोग हेलीपेड के रूप में भी किया जा सकेगा, जिससे आपातकालीन सेवाओं की आपूर्ति और खेलों के विकास में भी मदद मिलेगी।
समग्र विकास के लिए बजट
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने बजट को हर वर्ग के विकास और विश्वास का बजट बताया। उन्होंने कहा कि यह बजट राज्य के संपूर्ण विकास की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है और मध्यप्रदेश को 2047 तक एक विकसित राज्य बनाने के उद्देश्य से तैयार किया गया है।
इस बजट ने राज्य के इंफ्रास्ट्रक्चर, स्वास्थ्य, शिक्षा, कृषि और महिला सशक्तिकरण के क्षेत्रों में ठोस कदम उठाए हैं, जो आने वाले वर्षों में मध्यप्रदेश के विकास में महत्वपूर्ण योगदान देंगे।