World COPD Day 2025: अस्थमा से कितना अलग है सीओपीडी ?

World COPD Day 2025: विश्व सीओपीडी दिवस हर साल नवंबर के तीसरे बुधवार को मनाया जाता है। इस साल यह 19 नवंबर को है। इसका उद्देश्य क्रॉनिक ऑब्सट्रक्टिव पल्मोनरी डिजीज (COPD) के बारे में जागरूकता बढ़ाना है। अक्सर लोग COPD और अस्थमा को समान समझते हैं, क्योंकि दोनों में सांस लेने में कठिनाई होती है। लेकिन यह दोनों अलग बीमारियाँ हैं, जिनके कारण, लक्षण और उपचार में स्पष्ट अंतर है।

1. बीमारी की प्रकृति

  • COPD: प्रगतिशील और स्थायी रोग है। समय के साथ फेफड़ों की कार्यक्षमता घटती है। मुख्य कारण लंबे समय तक धूम्रपान या प्रदूषण है।
  • अस्थमा: अस्थायी रोग है। सांस की नली में सूजन एलर्जी या अन्य ट्रिगर्स से होती है। सही उपचार से फेफड़ों की कार्यक्षमता सामान्य हो सकती है।

2. उम्र और कारण

  • COPD: आमतौर पर 40 वर्ष के बाद शुरू होती है। कारण: धूम्रपान, वायु प्रदूषण।
  • अस्थमा: अक्सर बचपन में शुरू होती है। कारण: एलर्जी (धूल, पराग) या आनुवंशिक।

3. फेफड़ों पर असर

  • COPD: फेफड़ों की कार्यक्षमता स्थायी रूप से घटती है। वायुमार्ग संकुचित होते हैं और वायुकोष क्षतिग्रस्त हो जाते हैं।
  • अस्थमा: वायुमार्ग की सूजन अस्थायी होती है और दवा लेने पर सामान्य हो जाती है।

4. उपचार और दवाएं

  • COPD: बीमारी की प्रगति को धीमा करने के लिए लंबे समय तक ब्रोंकोडायलेटर्स का उपयोग।
  • अस्थमा: ट्रिगर पर इनहेल्ड स्टेरॉयड और शॉर्ट-एक्टिंग ब्रोंकोडायलेटर्स (रिलीवर) का इस्तेमाल।

5. लक्षण और गंभीरता

  • COPD: समय के साथ धीरे-धीरे बिगड़ती है। लगातार सांस फूलना और थकान।
  • अस्थमा: लक्षण समय-समय पर आते हैं। अटैक के बीच मरीज सामान्य महसूस करता है।


COPD और अस्थमा में सांस लेने में दिक्कत सामान्य लग सकती है, लेकिन इनके कारण, गंभीरता और उपचार में बड़ा अंतर है। सही निदान और उपचार से फेफड़ों को स्वस्थ रखा जा सकता है और जीवन की गुणवत्ता बढ़ाई जा सकती है।

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