हरियाणा विधानसभा का शीतकालीन सत्र शुरू, पहले दिन कांग्रेस ने लाया अविश्वास प्रस्ताव

चंडीगढ़ : हरियाणा विधानसभा के शीतकालीन सत्र के पहले दिन की कार्यवाही शुरू हो गई है। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी केसरिया रंग की पगड़ी पहनकर सदन में पहुंचे। पहले ही दिन कांग्रेस ने सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पेश किया, जिसे विधानसभा अध्यक्ष हरविंदर कल्याण ने स्वीकार कर लिया। इस प्रस्ताव पर शुक्रवार को सदन की दूसरी बैठक में चर्चा होगी।

सत्र की शुरुआत में मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने शोक प्रस्ताव प्रस्तुत किया, जिसे सदन ने सर्वसम्मति से पारित कर दिया। वहीं मंत्री अनिल विज ने नेता प्रतिपक्ष बनने पर भूपेंद्र सिंह हुड्डा को बधाई देते हुए शेरो-शायरी के अंदाज में कहा, “हवाएं लाख मुखालिफ हो जाएं, दिया वही जलता है जो जिद पर अड़ा रहता है।” शीतकालीन सत्र 22 दिसंबर तक चलेगा और इस दौरान कुल तीन बैठकें प्रस्तावित हैं।

इससे पहले विधानसभा की कार्य सलाहकार समिति की बैठक अध्यक्ष हरविंदर कल्याण की अध्यक्षता में संपन्न हुई, जिसमें सत्र की कार्यसूची पर विस्तार से चर्चा की गई। बैठक में यह निर्णय लिया गया कि शीतकालीन सत्र 18 से 22 दिसंबर तक आयोजित होगा। बैठक के बाद मुख्यमंत्री ने कहा कि विपक्ष सत्र की अवधि बढ़ाने की मांग कर रहा है, जबकि नियमों के अनुसार मानसून सत्र के छह माह के भीतर दूसरा सत्र अनिवार्य नहीं था। इसके बावजूद सरकार ने शीतकालीन सत्र बुलाया है। उन्होंने कांग्रेस सरकार पर कम सत्र आयोजित करने का आरोप भी लगाया।

इसी बीच शिक्षा से जुड़े मुद्दों पर भी सदन में जानकारी दी गई। शिक्षा मंत्री महीपाल ढांडा ने नूंह से विधायक चौधरी आफताब अहमद के सवाल के जवाब में बताया कि वित्तीय वर्ष 2025-26 में नवंबर तक सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले लाखों विद्यार्थियों को छात्रवृत्ति और प्रोत्साहन योजनाओं की राशि दी जा चुकी है। हालांकि, अभी भी हजारों छात्रों का भुगतान लंबित है।

सरकार के अनुसार कक्षा 9वीं से 12वीं तक अनुसूचित जाति के लगभग 2.63 लाख विद्यार्थियों को छात्रवृत्ति मिल चुकी है, जबकि करीब 12 हजार छात्रों का भुगतान बाकी है। इसी तरह बीसी-ए और बीपीएल वर्ग के विद्यार्थियों को भी मासिक प्रोत्साहन राशि दी गई है, लेकिन कुछ मामलों में भुगतान लंबित है।

कक्षा 1 से 8वीं तक की योजनाओं में भी लाखों छात्रों को लाभ पहुंचाया गया है। एससी वर्ग के चार लाख से अधिक विद्यार्थियों को नकद पुरस्कार और प्रोत्साहन राशि दी गई, जबकि लगभग 74 हजार छात्र अब भी भुगतान का इंतजार कर रहे हैं। मुफ्त वर्दी और स्टेशनरी योजनाओं में भी कई जिलों में वितरण अधूरा बताया गया है। नूंह जिले में प्राथमिक और माध्यमिक स्तर पर बड़ी संख्या में छात्रों को लाभ मिला है, वहीं कुछ विद्यार्थियों की राशि अभी लंबित है। शिक्षा मंत्री ने बताया कि लंबित मामलों की स्कूलवार सूची सदन पटल पर रख दी गई है और शीघ्र भुगतान के प्रयास किए जा रहे हैं।

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