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मेटा ने अपने 20 कर्मचारियों को नौकरी से निकाल दिया है, क्योंकि उन्होंने कंपनी की गोपनीय जानकारी मीडिया को लीक की. इसकी जानकारी खुद कंपनी ने दी है. ये कदम तब उठाया गया है, जब सोशल मीडिया दिग्गज के CEO मार्क जुकरबर्ग की अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के प्रति बढ़ती नजदीकी और राजनीतिक बदलावों को लेकर लगातार सवाल उठ रहे हैं.
कंपनी के प्रवक्ता ने इस बारे में एक बयान में कहा कि हम कर्मचारियों को कंपनी में शामिल होने पर बताते हैं और समय-समय पर याद दिलाते हैं कि आंतरिक जानकारी लीक करना हमारी नीतियों के विरुद्ध है, चाहे उसका इरादा कुछ भी हो. कंपनी ने आगे कहा कि हमने हाल ही में एक जांच की थी जिसके परिणामस्वरूप करीब 20 कर्मचारियों को कंपनी के बाहर गोपनीय जानकारी साझा करने के चलते नौकरी से निकाल दिया गया, हमें उम्मीद है कि ऐसे और भी कर्मचारी होंगे.
जानकारी लीक तो कर्मचारियों को निकालना
मेटा ने कहा कि उन्हें ये कदम उठाने पर मजबूर किया गया, क्योंकि पिछले कुछ समय में जुकरबर्ग और उनके कर्मचारियों के बीच हुई मीटिंग्स के आधार पर कई रिपोर्ट्स मीडिया में सामने आई थीं. एक मीटिंग में, जुकरबर्ग ने कर्मचारियों से कहा था कि वो अब कंपनी के आंतरिक मामलों के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं देंगे और फिर जो कुछ भी मैं कहता हूं वो लीक हो जाता है. ये बहुत बुरा है.
कर्मचारियों को दी गई चेतावनी
इसके बाद जुकरबर्ग ने कर्मचारियों को चेतावनी देते हुए कहा कि आने वाले साल के लिए तैयार रहें. साथ ही, कहा कि मेटा व्हाइट हाउस के साथ एक उत्पादक साझेदार बनेगा. मेटा ने ये भी कहा कि उन्हें उम्मीद है कि इस प्रकार के और लीक मामले सामने आ सकते हैं और कंपनी इन मामलों को गंभीरता से लेती है और जब भी लीक की पहचान होती है, तब वो कार्रवाई करती रहेगी.
मार्क जुकरबर्ग-ट्रंप के बीच बढ़ती नजदीकी
हाल ही में, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ जुकरबर्ग के रिश्तों में तेजी से बदलाव देखा गया है. ट्रंप के राष्ट्रपति पद के लिए चुनाव जीतने के बाद, जुकरबर्ग ने ट्रंप की नीतियों को समर्थन देने के लिए कई कदम उठाए हैं. इसके अलावा, जुकरबर्ग ने ट्रंप के वफादार डाना व्हाइट को मेटा के बोर्ड में शामिल किया.