
विकासनगर। शक्तिनहर के किनारे लगाई गई रेलिंग एक साल में ही जवाब दे गई। हवा के चलते रेलिंग जगह-जगह उखड़ गई है।
समाजसेवी दौलत कुंवर ने मामले में सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि यूजीवीएनएल और ठेकेदार की मिलीभगत से हल्के लोहे से रेलिंग बनाई गई थी, जिस कारण एक ही हवा में उखड़ गई। एक साल पूर्व शक्तिनहर के किनारे लोगों की जान बचाने के लिए रेलिंग लगाई गई थी, लेकिन एक ही साल में रेलिंग जवाब दे गई।
उन्होंने मुख्यमंत्री और जिलाधिकारी से दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। उन्होंने कहा कि यदि दोषियों के खिलाफ विभाग कार्रवाई नहीं करता है तो मजबूरी में उन्हें आंदोलन करने के लिए विवश होना पड़ेगा। 4 साल पहले उनके आंदोलन करने पर विभाग ने रेलिंग लगाई थी। कुछ दिन पूर्व पिता पुत्र ने भी शक्तिनहर में कूदकर अपनी जान दे दी थी। यदि रेलिंग होती तो दोनों की जान बच जाती।
उन्होंने कहा कि शासनादेश में स्पष्ट है कि आबादी के आसपास यदि कोई परियोजना का निर्माण होता है तो रेलिंग 15 फुट ऊंची होनी चाहिए, लेकिन यूजीवीएनएल विभाग द्वारा इसकापालन नहीं किया जा रहा है। उधर इस संबंध में अधिशासी निदेशक राजीव अग्रवाल ने कहा कि जहां-जहां पर रेलिंग उखड़ गई है, उसे ठीक कर दिया जाएगा।















