
गर्मियों में फलों का राजा आम बाजार में सज जाते हैं। लेकिन मार्केट में प्राकृतिक रूप से पके आम और केमिकल से पके आम की पहचना करना मुश्किल हो जाता है। ज्यादातर बाजारों में केमिकल से पके आमों की बिक्री हो रही है, जिसका लोगों के स्वास्थ्य पर नकारात्मक असर पड़ रहा है।
केमिकल से पके आम के सेवन से न केवल स्वास्थ्य समस्याएं हो सकती हैं, बल्कि यह फल की गुणवत्ता को भी प्रभावित करता है। ऐसे में आम की सही पहचान होना जरूरी है। केमिकल से पके आम की पहचान नीचे दिए गए चार तरीकों से किया जा सकता है…
कैमिकल से पके आम की पहचान
सुगंध का परीक्षण – निचले हिस्से के आम को सूंघें। प्राकृतिक रूप से पका हुआ आम एक मीठी और सुगंधित खुशबू देता है, जो उसके पकने की संकेत देती है। यदि आम में कोई तीखी या रासायनिक सुगंध है, तो यह संकेत हो सकता है कि आम केमिकल से पकाया गया है।
रंग और बनावट का निरीक्षण – प्राकृतिक आम का रंग गहरा और चमकदार होता है। उसकी त्वचा पर धब्बे और असमानता हो सकती है, लेकिन रंग में प्राकृतिक भिन्नता होती है। वहीं, अगर आम का रंग अत्यधिक चमकीला और एक समान है, तो यह संभावना है कि इसे केमिकल से पका गया है।
बीज का परीक्षण – एक पका हुआ आम सामान्यतः अपने बीज के पास से आसानी से कटता है। यदि बीज कठोर और मुश्किल से निकलते हैं, तो इसका मतलब हो सकता है कि आम केमिकल से पकाया गया है। ध्यान दें कि प्राकृतिक आम का बीज आमतौर पर मुलायम और आसानी से निकलने योग्य होता है।
स्वाद की पहचान – पके आम का स्वाद मीठा और थोड़ा खट्टा होता है। अगर आम का स्वाद अत्यधिक मीठा या स्वादहीन हो, तो हो सकता है कि उसे केमिकल्स से पकाया गया है। प्राकृतिक आम का स्वाद हमेशा समृद्ध और संतुलित होता है।