
आगरा के रुनकता क्षेत्र में शनिवार को शनि अमावस्या के मौके पर आस्था और व्यवस्था की टक्कर ने इंसानियत को झकझोर कर रख दिया। एक ओर हजारों श्रद्धालु शनिदेव की पूजा-अर्चना के लिए उमड़े थे, तो दूसरी ओर एक बुजुर्ग की अंतिम यात्रा भीड़ और जाम में फंसकर दो घंटे तक संघर्ष करती रही।
जाम में अटका अंतिम सफर
शनिवार को रुनकता के रेणुका धाम स्थित शनिदेव मंदिर में भारी संख्या में श्रद्धालु पहुंचे। सड़क पर दूर-दूर तक भीड़ और गाड़ियों की कतार लगी हुई थी। इसी बीच पनवारी गांव के 80 वर्षीय भारत सिंह की अंतिम यात्रा निकाली जा रही थी, लेकिन श्रद्धालुओं की भीड़ और वाहन जाम के चलते अर्थी रास्ते में ही फंस गई।
परिजन लगातार लोगों से रास्ता देने की गुहार लगाते रहे, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। सभी लोग पूजा में व्यस्त थे। दो घंटे तक शव जाम में फंसा रहा। अंत में परिजनों ने अर्थी को कंधे और सिर पर उठाकर भीड़ को धीरे-धीरे पार किया और मोक्षधाम पहुंचे, जहां अंतिम संस्कार हो सका।
मंदिर कमेटी का आरोप – प्रशासन ने नहीं किया इंतजाम
मंदिर समिति की अध्यक्ष आशा धाकरे ने प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाया। उन्होंने कहा,
“हमें पहले से अंदेशा था कि शनि अमावस्या पर भारी भीड़ उमड़ेगी, इस बारे में प्रशासन को अवगत कराया गया था, लेकिन पर्याप्त पुलिस बल नहीं तैनात किया गया। इसी कारण हालात बेकाबू हुए।”
पुलिस की सफाई – नहीं ली गई थी पूर्व अनुमति
वहीं प्रशासन ने अपना पक्ष रखते हुए आयोजन में पूर्व अनुमति नहीं लेने की बात कही। डीसीपी सिटी सोनम कुमार ने कहा,
“शनि मंदिर में किसी आयोजन के लिए पूर्व अनुमति नहीं ली गई थी। भीड़ और जाम की सूचना मिलने पर तत्काल पुलिस बल लगाया गया और कुछ समय बाद यातायात को सामान्य कर दिया गया।”