
उज्जैन : मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव 10 अक्टूबर की शाम उज्जैन दौरे पर रहे, जहां उन्होंने कुल 133 करोड़ रुपये की विभिन्न विकास परियोजनाओं का भूमिपूजन और लोकार्पण किया। इसके बाद वे निजी विश्वविद्यालय में आयोजित तीन दिवसीय “यंग थिंकर्स फोरम” कार्यक्रम में शामिल हुए, जहां 400 युवाओं के साथ भारतीय ज्ञान परंपरा और आधुनिक शिक्षा पर संवाद किया। इसके अलावा मुख्यमंत्री ने कालिदास अकादमी में दिव्यांगों को सेवा सप्ताह के तहत उपकरण वितरित किए और एकल चित्र प्रदर्शनी ‘अवंति’ का शुभारंभ किया।
पत्नी संग करवा चौथ का पारंपरिक उत्सव
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने अपने निजी निवास गीता कॉलोनी में पत्नी के साथ करवा चौथ का व्रत मनाया। इस दौरान उन्होंने परिवार और परंपराओं के महत्व को समर्पित भावनाओं के साथ पर्व का उत्सव मनाया।
विक्रम विश्वविद्यालय का नाम बदलकर सम्राट विक्रमादित्य विश्वविद्यालय किया गया
मुख्यमंत्री ने उज्जैन स्थित विक्रम विश्वविद्यालय का नाम बदलकर ‘सम्राट विक्रमादित्य विश्वविद्यालय’ का पट्टिका अनावरण किया। उन्होंने कहा कि यह नाम परिवर्तन केवल शब्दों का बदलाव नहीं है, बल्कि उज्जैन की शान और सांस्कृतिक विरासत की पहचान की पुनर्स्थापना है। उन्होंने विश्वविद्यालय को अपने छात्र जीवन और सामाजिक सेवा के अनुभव से जोड़कर भावनात्मक महत्व बताया।
विश्वविद्यालय का इतिहास और स्थापना
विक्रम विश्वविद्यालय की आधारशिला 23 अक्टूबर 1956 को तत्कालीन गृह मंत्री गोविंद बल्लभ पंत द्वारा रखी गई थी। विश्वविद्यालय की स्थापना 1 मार्च 1957 को हुई। विश्वविद्यालय ने समय-समय पर विस्तार और संशोधन किए, और इंदौर, ग्वालियर, भोपाल में नए विश्वविद्यालयों के गठन के साथ इसके अधिकार क्षेत्र में परिवर्तन हुआ।
मुख्यमंत्री ने किया 150 करोड़ से अधिक के निर्माण कार्यों का लोकार्पण और भूमिपूजन
मुख्यमंत्री ने उज्जैन में कुल 19.02 करोड़ रुपये के निर्माण कार्यों का लोकार्पण और 131.06 करोड़ रुपये के निर्माण कार्यों का भूमिपूजन किया। इनमें शासकीय महाविद्यालय झारडा का 4.34 करोड़ का भवन और शासकीय हायर सेकेंडरी स्कूल कुंडीखेड़ा का 1.47 करोड़ का भवन शामिल है। ये परियोजनाएं शिक्षा और बुनियादी ढांचे के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान देंगी।