Suicide Cases in Kota : सुप्रीम कोर्ट ने राजस्थान सरकार को फटकारा, पूछा- सिर्फ कोटा में ही इतने सुसाइड क्यों?

Suicide Cases in Kota : सुप्रीम कोर्ट ने कोटा में आत्महत्याओं के मामले को लेकर राजस्थान सरकार को जमकर फटकार लगाई है। अदालत ने सवाल किया कि सिर्फ कोटा में ही आत्महत्याएं क्यों हो रही हैं और इस गंभीर स्थिति का समाधान क्यों नहीं निकाला जा रहा है। न्यायमूर्ति जेपी पारदीवाला और न्यायमूर्ति आर महादेवन की पीठ ने यह टिप्पणी की, जबकि राजस्थान सरकार की ओर से पेश वकील ने जवाब दिया कि आत्महत्याओं की जांच के लिए एसआईटी का गठन किया गया है।

कोटा में लगातार छात्र आत्महत्याओं का मामला चिंता का विषय है, जो तनाव, परीक्षा की तैयारी और सामाजिक दबाव जैसी वजहों से हो सकता है। यह स्थिति शिक्षा व्यवस्था और मानसिक स्वास्थ्य समर्थन की कमी को उजागर करती है।

इस पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि इस साल अब तक शहर से 14 आत्महत्याओं के मामले दर्ज हो चुके हैं, जो बेहद गंभीर हैं। अदालत ने पूछा कि एक राज्य के रूप में आप क्या कर रहे हैं? न्यायमूर्ति पारदीवाला ने यह भी कहा कि इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए प्रभावी कदम उठाने की आवश्यकता है और सरकार को अपनी कार्यवाही तेज करनी चाहिए।

इस मामले में राजस्थान सरकार की ओर से कहा गया कि जांच के लिए एसआईटी का गठन किया गया है और स्थिति की गंभीरता को देखते हुए कदम उठाए जा रहे हैं। अदालत ने राज्य सरकार को आवश्यक निर्देश देते हुए कहा कि वे आत्महत्या के मामलों पर निगरानी रखें और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करें। आगे की सुनवाई आगामी दिनों में होगी।

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