
जम्मू में स्कॉलरशिप स्कीम घोटाला : जम्मू में अनुसूचित जनजाति के छात्रों के लिए शुरू की गई पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना में बड़ा घोटाला सामने आया है। एंटी करप्शन ब्यूरो (एसीबी) ने इस मामले में जनजातीय कार्य विभाग के पूर्व निदेशक और सात निजी संस्थानों के खिलाफ मामला दर्ज किया है। आरोप है कि फर्जी दाखिले, दस्तावेज़ीकरण में धोखाधड़ी और छात्रों के फर्जी नाम पर बैंक खाते खोलने के माध्यम से करोड़ों रुपये की हेराफेरी की गई है।
यह कार्रवाई एसीबी द्वारा एक शिकायत के आधार पर शुरू की गई जांच के बाद की गई है। अधिकारियों के अनुसार, योजना का लाभ लेने वाले कुछ छात्रों के फर्जी दाखिले किए गए हैं, और उनके नाम पर फर्जी बैंक खातों का भी इस्तेमाल किया गया है। इससे सरकार की इस महत्वपूर्ण योजना के धन का दुरुपयोग हुआ है, जिससे करोड़ों रुपये की रकम का घोटाला हुआ है।
यह पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना भारत सरकार द्वारा शुरू की गई थी, जिसका उद्देश्य अनुसूचित जनजाति के छात्रों को 18,000 रुपये ट्यूशन फीस और 2,300 रुपये मेंटेनेंस भत्ते के रूप में वित्तीय सहायता प्रदान करना था, ताकि उनकी शिक्षा में मदद मिल सके। हालांकि, अब इस घोटाले के प्रकाश में आने के बाद इस योजना की पारदर्शिता पर सवाल खड़े हो गए हैं।
एसीबी के प्रवक्ता ने कहा है कि जांच अभी जारी है और आगे और भी गिरफ्तारियां की जा सकती हैं। इस मामले में दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा रही है ताकि सरकारी योजनाओं का दुरुपयोग रोका जा सके और अनुसूचित जनजाति के छात्रों को सही तरीके से सहायता मिल सके।
वर्तमान में, जांच एजेंसियां इस घोटाले के सभी पहलुओं की जांच कर रही हैं और दोषियों को कानूनी कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा। सरकार ने भी इस मामले में सख्त कार्रवाई का आश्वासन दिया है ताकि ऐसी घटनाएं दोबारा न हों और योजनाओं का लाभ सही पात्रों तक पहुंचे।
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