
देहरादून : भारतीय सेना द्वारा पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर में आतंकियों के ठिकानों पर किए गए साहसिक और निर्णायक हमले के बाद देशभर में सेना के प्रति सम्मान और समर्थन की लहर दौड़ गई है। इसी कड़ी में कांग्रेस पार्टी ने भी सेना के मनोबल को बढ़ाने और देशवासियों को एकजुटता का संदेश देने के लिए तिरंगा यात्रा निकाली।
तिरंगा यात्रा: एकता और सम्मान का प्रतीक
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा के नेतृत्व में यह तिरंगा यात्रा प्रदेश मुख्यालय से शुरू होकर घंटाघर, पल्टन बाजार और डिस्पेंसरी रोड होते हुए निकाली गई। इस यात्रा में प्रीतम सिंह, गरिमा दसौनी, और अन्य वरिष्ठ नेताओं सहित सैकड़ों कांग्रेस कार्यकर्ता शामिल हुए। सभी के हाथों में तिरंगे थे और गगनभेदी नारों से आसमान गूंज उठा—
“भारत माता की जय”, “पाकिस्तान मुर्दाबाद”, और “सेना का सम्मान करो”।
सेना के साहस को सलाम
प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने कहा कि जिस तरह भारतीय सेना ने पहलगाम हमले के बाद आतंकियों को मुंहतोड़ जवाब दिया है, वह गर्व और प्रेरणा का विषय है। उन्होंने कहा,
“हमारी सेना का पराक्रम विश्व में बेजोड़ है। कांग्रेस पार्टी आतंकवाद के खिलाफ सरकार के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ी है।”
राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खड़गे ने पहले ही स्पष्ट कर दिया है कि “राष्ट्रहित सर्वोपरि है, और सेना के सम्मान में कोई राजनीति नहीं होनी चाहिए।”
जनजागरूकता और एकजुटता का संदेश
तिरंगा यात्रा का उद्देश्य न केवल सेना को सम्मान देना था, बल्कि जनता के बीच यह संदेश भी देना था कि जब बात देश की सुरक्षा की हो, तो पूरा देश एक साथ खड़ा होता है। कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने जगह-जगह तिरंगे लहराते हुए आम लोगों से संपर्क किया और सेना के समर्थन में आवाज बुलंद की।