
संयुक्त राज्य अमेरिका में शनिवार, 5 अप्रैल को विरोध प्रदर्शनों की एक बड़ी लहर देखी गई, जिसमें हजारों लोग न्यूयॉर्क से लेकर अलास्का तक सड़कों पर उतरे। यह अब तक का सबसे बड़ा विपक्षी आंदोलन था, जिसमें 150 से अधिक संगठनों ने हिस्सा लिया। इन संगठनों में नागरिक अधिकार समूह, श्रमिक संघ, LGBTQ+ के वकील, चुनावी कार्यकर्ता और कई प्रमुख व्यक्ति शामिल थे। यह विरोध राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और एलन मस्क की नीतियों के खिलाफ था, खासकर ट्रंप के शासन के शुरुआती हफ्तों में जिनकी नीतियों को लेकर असफलताएं सामने आईं।
अमेरिका के 50 राज्यों में 1200 से ज्यादा स्थानों पर आयोजित इस विरोध प्रदर्शन को ‘हैंड्स ऑफ’ नाम दिया गया। प्रदर्शनकारियों ने ट्रंप और मस्क की नीतियों की आलोचना करते हुए तख्तियां और नारे लगाए। उन्होंने संघीय एजेंसियों से हजारों कर्मचारियों की निकासी, अर्थव्यवस्था, प्रवासन और मानवाधिकारों पर इन दोनों नेताओं की नीतियों के खिलाफ अपनी आवाज उठाई।
मिडटाउन मैनहैटन से लेकर एंकोरेज, अलास्का तक हजारों लोग सड़कों पर उतरे। प्रदर्शनकारियों ने सिएटल के प्रसिद्ध स्पेस नीडल में “फाइट फॉर ऑलिगार्की” जैसे नारे लिखी तख्तियां थाम रखी थीं। इसके अलावा, पोर्टलैंड, ओरेगन और लॉस एंजिलिस में भी सड़कों पर बड़ी संख्या में लोग उतरे और पर्शिंग स्क्वायर से सिटी हॉल तक विरोध रैलियां निकालीं। इस विरोध प्रदर्शन में किसी भी तरह की हिंसा या गिरफ्तारी की कोई सूचना नहीं आई और यह पूरी तरह से शांतिपूर्ण रहा।