मध्य प्रदेश में जहरीले कफ सिरप : ‘कोल्ड्रिफ’ से 25 बच्चों की मौत, जांच में दो नए आरोपी शामिल

छिंदवाड़ा : मध्य प्रदेश में जहरीले कफ सिरप ‘कोल्ड्रिफ’ से हुई 25 बच्चों की मौत के मामले ने देशभर में हड़कंप मचा दिया है। अब इस प्रकरण की जांच का दायरा और बढ़ा दिया गया है। पुलिस ने जांच में नई परतें खुलने के बाद होलसेलर ‘न्यू अपना फार्मा’ के संचालक राजेश सोनी और ‘अपना मेडिकल’ परासिया के केमिस्ट सौरभ जैन को भी सह-आरोपी बनाया है।

रिकॉर्ड छिपाने और साक्ष्य मिटाने के आरोप

ड्रग विभाग की जांच रिपोर्ट में सामने आया है कि दोनों आरोपियों ने न केवल कफ सिरप की बिक्री का रिकॉर्ड छिपाया, बल्कि बची हुई बोतलें भी जांच टीम को नहीं सौंपीं। पुलिस के अनुसार, यह दोनों आरोपियों द्वारा जांच को गुमराह करने और अहम साक्ष्य मिटाने की कोशिश थी।

एसपी अजय पांडे ने बताया कि ड्रग विभाग की रिपोर्ट में स्पष्ट उल्लेख है कि राजेश सोनी, जो पुराना पावर हाउस क्षेत्र में ‘न्यू अपना फार्मा’ चलाता है, ने कोल्ड्रिफ सिरप की बिक्री का पूरा हिसाब नहीं रखा और शेष स्टॉक भी जमा नहीं कराया। वहीं, सौरभ जैन, जो डॉ. प्रवीण सोनी के क्लिनिक के पास अपना मेडिकल स्टोर चलाता है, ने भी यही गलती दोहराई।

जांच में यह साबित हुआ कि दोनों ने जानबूझकर प्रतिबंधित सिरप को छिपाया ताकि जांच को भटकाया जा सके। इसी आधार पर उन्हें 21 बच्चों की मौत के मामले में सह-आरोपी बनाया गया है। जानकारी के अनुसार, राजेश सोनी मुख्य आरोपी डॉ. प्रवीण सोनी का भतीजा है। पुलिस ने दोनों को हिरासत में लेकर पूछताछ शुरू कर दी है।

ईडी की रेड से एसआईटी की जांच प्रभावित

सोमवार सुबह करीब 6:30 बजे एसआईटी टीम मुख्य आरोपी रंगनाथन को लेकर तमिलनाडु पहुंची थी, ताकि श्रीसन फार्मा में जांच शुरू की जा सके। लेकिन उसी समय ईडी (प्रवर्तन निदेशालय) ने रंगनाथन और श्रीसन फार्मा से जुड़े ठिकानों पर छापेमारी कर दी।

इस वजह से एसआईटी टीम अपनी जांच तत्काल शुरू नहीं कर पाई। अब ईडी की कार्रवाई पूरी होने के बाद ही एसआईटी को कंपनी से दस्तावेज और सबूत जुटाने की अनुमति मिलेगी।

सूत्रों के मुताबिक, जांच एजेंसियों के बीच समन्वय की कमी के कारण जांच की प्रक्रिया फिलहाल धीमी हो गई है। हालांकि, एसआईटी का कहना है कि वे जल्द ही फार्मा कंपनी से जुड़ी सभी जानकारियां एकत्र कर अंतिम रिपोर्ट तैयार करेंगे।

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