
- बच्चों को स्केटिंग में राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय स्तर तक पहुंचाने की दिशा में प्रशिक्षित़ किया जाए
- राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने राजभवन लखनऊ परिसर में स्थित स्केटिंग रिंग के ऊपर होने वाले शेड निर्माण कार्य का किया शिलान्यास
लखनऊ। प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने आज राजभवन लखनऊ परिसर में स्थित स्केटिंग रिंग के ऊपर होने वाले शेड निर्माण कार्य का शिलान्यास किया, जिसे नगर निगम लखनऊ द्वारा वित्तपोषित किया जा रहा है। इस कार्य की कुल लागत रूपये 56.47 लाख है।
इस अवसर पर अपने उद्बोधन में राज्यपाल ने कहा कि सामान्यतः खुले आसमान के नीचे खेलकूद अधिक लाभकारी होता है, लेकिन बच्चों को गर्मी एवं सर्दी से बचाने तथा उन्हें निरंतर अभ्यास का अनुकूल वातावरण देने हेतु स्केटिंग रिंग पर शेड लगाया जा रहा है। यह कार्य अगले दो महीनों में पूर्ण कर लिया जाएगा, जिसके बाद बच्चे वर्षभर आराम से यहां स्केटिंग का अभ्यास कर सकेंगे। उन्होंने कहा कि अन्य विद्यालयों के बच्चे भी राजभवन परिसर की इस स्केटिंग रिंग का उपयोग कर सकेंगे। उन्होंने निर्देश दिया कि राजभवन के बच्चे स्केटिंग में स्टेट लेवल तक उत्कृष्ट प्रदर्शन कर रहे हैं। अब इन बच्चों को राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय स्तर तक पहुंचाने की दिशा में प्रशिक्षित किया जाए।

राज्यपाल ने कहा कि बच्चों की नियमित स्कूल उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिए एसबीआई बैंक की सहायता से स्कूल बस की व्यवस्था की गई है। उन्होंने शिक्षकों को निर्देशित किया कि वे बच्चों की उपस्थिति पर विशेष ध्यान दें, आवश्यकता पड़ने पर अभिभावकों से व्यक्तिगत रूप से मिलें, घर जाकर संवाद स्थापित करें तथा बच्चों को नियमित रूप से विद्यालय आने के लिए प्रेरित करें। उन्होंने कहा कि बच्चों में अपार प्रतिभा है, और उसे निखारना शिक्षकों की महत्वपूर्ण जिम्मेदारी है। जब शिक्षक सक्रिय रहेंगे, तभी बच्चे भी सक्रिय होंगे।
उन्होंने निर्देश दिया कि विद्यालय में अध्ययनरत बच्चों को अनावश्यक कार्यक्रमों में बैठाया न जाए, क्योंकि इससे उनकी पढ़ाई प्रभावित होती है। राज्यपाल ने यह भी कहा कि परीक्षोपरांत विद्यार्थियों की उत्तर पुस्तिकाओं का मूल्यांकन किसी तृतीय पक्ष स्वतंत्र परीक्षक द्वारा कराया जाए, जिससे मूल्यांकन प्रक्रिया पूर्णतया निष्पक्ष एवं पारदर्शी बनी रहे और वे स्वयं भी कॉपियों की जांच करेंगी। राज्यपाल ने बच्चों को मेहनत, नियमित अध्ययन, समय से होमवर्क करने तथा पौष्टिक भोजन चबा-चबाकर खाने की सलाह दी, जिससे शरीर को पर्याप्त ऊर्जा प्राप्त हो सके। उन्होंने कहा कि परिसर स्थित विद्यालय में बच्चे प्रतिदिन महात्मा गांधी की आत्मकथा पढ़ें।
राज्यपाल ने कहा कि राजभवन परिसर में रहने वाले बच्चे सुरक्षित वातावरण में रहते हैं, इसलिए इन बच्चों को समय-समय पर ग्रुप बनाकर राजभवन से बाहर ले जाया जाए, जिससे उनमें अनुशासन, व्यवहारिक ज्ञान तथा बाहरी वातावरण में समायोजन करने की क्षमता विकसित हो सके।
कार्यक्रम के दौरान राज्यपाल ने यह भी घोषणा की कि राजभवन में जल्द ही आंगनबाड़ी केंद्र की स्थापना की जाएगी, जिसमें 3 से 6 वर्ष आयु के बच्चे शिक्षा प्राप्त कर सकेंगे। इस अवसर पर लखनऊ की महापौर सुषमा खर्कवाल ने कहा कि महामहिम राज्यपाल आनंदीबेन पटेल की प्रेरणा और मार्गदर्शन के परिणामस्वरूप स्केटिंग रिंग पर शेड लगाने का कार्य आरम्भ किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि राज्यपाल का विशेष ध्यान सदैव छोटे बच्चों के सर्वांगीण विकास, पोषण, सुरक्षा और शिक्षा पर रहता है। उनकी संवेदनशीलता और दूरदर्शी दृष्टि के कारण राजभवन के अनेक संसाधन अब आम जनता, विशेषकर बच्चों के लिए, सुलभ कराए गए हैं। विश्व शौचालय दिवस के अवसर पर महापौर ने सभी नागरिकों को शुभकामनाएँ देते हुए कहा कि स्वच्छता के प्रति जागरूकता बढ़ाना प्रत्येक नागरिक का कर्तव्य है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी महिलाओं के सम्मान, सुरक्षा और सशक्तिकरण के लिए अनेक योजनाएं संचालित कर रहे हैं। वर्षों से लंबित महिला आरक्षण बिल को पारित कराना प्रधानमंत्री की ऐतिहासिक पहल है, जिसने देश की महिलाओं को राजनीति तथा राष्ट्र निर्माण की मुख्यधारा में सशक्त रूप से स्थापित किया है। उन्होंने राज्यपाल के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कहा कि उनके निर्देशन में संचालित प्रयास भविष्य में भी जनहित में सार्थक परिणाम देते रहेंगे।
इस अवसर पर विशेष कार्याधिकारी राजभवन (अपर मुख्य सचिव स्तर) डॉ. सुधीर महादेव बोबडे, विशेष कार्याधिकारी राज्यपाल अशोक देसाई, विशेष कार्याधिकारी (शिक्षा) डॉ. पंकज एल. जानी, नगर आयुक्त गौरव कुमार, अन्य अधिकारी-कर्मचारी, विद्यालय के बच्चे, उनके अभिभावक तथा अनेक गणमान्य नागरिक उपस्थित रहे।










