लखीमपुर : पुलिस से चोरी की शिकायत करने पर संदिग्ध ने पीड़ित को खुलेआम दी धमकी

लखीमपुर खीरी। जनपद के थाना कोतवाली खीरी क्षेत्र स्थित पुलिस चौकी नकहा अंतर्गत ग्राम पंचायत काटकुसुमा के मजरा कोदीपुरवा निवासी चंद्रशेखर पुत्र दिवाकर दत्त शुक्ला के घर में बीते 6 अप्रैल की रात अज्ञात चोरों ने चोरी की घटना को अंजाम दिया। चोरों ने घर की छत पर रखे लाही से भरे चार कट्टे चुरा लिए।

चोरी की घटना का विवरण :

चोरी के बाद परिवार को जब सुबह इस वारदात का पता चला, तो चंद्रशेखर ने तत्काल डायल 112 पर कॉल किया और पुलिस को सूचना दी। सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और घटनास्थल का निरीक्षण किया। पुलिस ने पीड़ित के भाई, रामू पुत्र दिवाकर दत्त शुक्ला से भी बयान दर्ज किए। इसके बाद, पुलिस ने प्रारंभिक पूछताछ की और घटनास्थल से लौट आई।

इस बीच, चौकी प्रभारी गौरव कुमार ने खुद घटनास्थल पर जाकर निरीक्षण किया और पीड़ित से तहरीर देने के लिए चौकी बुलाया। पीड़ित ने चौकी पहुंचकर अज्ञात चोरों के खिलाफ लिखित तहरीर दी और घर लौट आया।

पुलिस कार्रवाई और संदिग्धों की गिरफ्तारी :

तहरीर मिलते ही पुलिस ने सक्रियता दिखाते हुए इलाके के कुछ संदिग्धों को हिरासत में लिया और उनसे पूछताछ शुरू की। इस पूछताछ में एक आपराधिक प्रवृत्ति का व्यक्ति, बुद्धा पुत्र राजेंद्र निवासी काटकुसुमा का नाम सामने आया, जो चोरों से संबंधित था।

संदिग्ध द्वारा खुलेआम धमकी देना :

13 अप्रैल को इस मामले में एक चौंकाने वाला घटनाक्रम सामने आया। जब बुद्धा ने खुलेआम पीड़ित चंद्रशेखर को सड़क पर रोक लिया और धमकी दी। उसने कहा कि उसने दारोगा को दस हजार रुपये देकर अपनी रिहाई सुनिश्चित कर ली है। अब, उसे यह रकम चंद्रशेखर से कैसे वसूल करनी होगी, यह सवाल उसने खुलेआम उठाया। इस धमकी का वीडियो पीड़ित ने स्वयं रिकॉर्ड कर सोशल मीडिया पर वायरल किया, जिससे पुलिस प्रशासन की निष्पक्षता पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं।

पुलिस पर उठते सवाल और पीड़ित का संघर्ष :

इस घटना के बाद, पीड़ित परिवार ने पुलिस से न्याय की मांग की है। वहीं, चौकी पुलिस ने पीड़ित को आश्वासन दिया है कि शाम तक उचित कार्रवाई की जाएगी। लेकिन इस घटनाक्रम ने पूरे इलाके में पुलिस प्रशासन के प्रति अविश्वास का माहौल पैदा कर दिया है। ग्रामीणों ने मांग की है कि मामले की निष्पक्ष जांच हो और दोषियों पर कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाए।

वीडियो का वायरल होना और पुलिस के प्रति अविश्वास :

पीड़ित ने अपनी पीड़ा को सोशल मीडिया पर वीडियो के रूप में साझा किया है, जिससे मामले को लेकर पुलिस के कामकाज पर सवाल उठ रहे हैं। यह वीडियो वायरल होने के बाद से पुलिस की निष्पक्षता और कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं।

आगे की कार्रवाई पर निगाहें :

फिलहाल, चौकी पुलिस ने शाम तक कार्रवाई का आश्वासन दिया है। हालांकि, यदि समय रहते उचित कानूनी कदम नहीं उठाए गए, तो पीड़ित परिवार न्याय के लिए उच्चाधिकारियों से संपर्क करने की योजना बना चुका है।

ग्रामीणों का समर्थन :

ग्रामीणों का कहना है कि अगर जल्द ही इस मामले में सही कदम नहीं उठाए गए, तो वे भी उच्च अधिकारियों से संपर्क करने की योजना बना सकते हैं। साथ ही, ग्रामीणों ने पुलिस प्रशासन से निष्पक्ष जांच और दोषियों पर कड़ी कानूनी कार्रवाई की मांग की है।

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