
Jalaun : रामपुरा में पिता द्वारा लिए गए बैंक कर्ज की अदायगी न होने पर प्रशासन ने सोमवार को तीन सगे भाइयों की पैतृक संपत्ति कुर्क कर ली।
जानकारी के अनुसार, ग्राम मई निवासी वीर सिंह पुत्र भैरौ सिंह ने वर्ष 2005 में इलाहाबाद बैंक (वर्तमान इंडियन बैंक) शाखा रामपुरा से कृषि कार्य के लिए कर्ज लिया था। समय पर भुगतान न होने के कारण बकाया राशि बढ़ते-बढ़ते लगभग 18,15,385 (अठारह लाख पंद्रह हजार तीन सौ पचासी) रुपये तक पहुंच गई।
कर्ज अवधि के दौरान ही वीर सिंह का निधन हो गया। उनकी पैतृक भूमि और अन्य अचल संपत्ति उनके तीन पुत्रों – धर्मेंद्र सिंह, विनोद सिंह और प्रमोद सिंह – को विरासत में मिली। बैंक द्वारा कई बार नोटिस जारी कर बकाया चुकाने की चेतावनी देने के बावजूद राशि जमा न होने पर उनके विरुद्ध आरसी (रिकवरी सर्टिफिकेट) जारी किया गया।
आरसी के आधार पर सोमवार को राजस्व विभाग और प्रशासन की संयुक्त टीम ने कुर्की की कार्रवाई की। तहसीलदार माधौगढ़ गौरव कुमार के नेतृत्व में संग्रह अमीन सुरेंद्र सिंह कुशवाह, लेखपाल भुवनेश सिंह, संग्रह अनुसेवक राम बिहारी दुबे, ग्राम प्रधान प्रभा देवी के पति रज्जन पाल सहित अन्य राजस्व कर्मी मौके पर मौजूद रहे। टीम ने पहले एनाउंसमेंट किया और फिर उनकी अचल संपत्ति खेतों पर झंडी गाड़कर कुर्की की औपचारिक कार्रवाई पूरी की।
प्रशासनिक अधिकारियों ने बताया कि यह कार्रवाई बैंक बकाया वसूली की वैधानिक प्रक्रिया के अंतर्गत की गई है। जब तक बकाया राशि जमा नहीं की जाती, संबंधित संपत्ति पर किसी भी प्रकार का हस्तांतरण या क्रय-विक्रय नहीं किया जा सकेगा। ग्रामीण क्षेत्र में इस कार्रवाई की चर्चा रही और लोग बैंक ऋणों की समय पर अदायगी के महत्व को लेकर जागरूक होते दिखे।
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