
इंदौर में श्वानों की बढ़ती संख्या से प्रशासन चिंतित है, क्योंकि शहर में डॉग बाइट के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। हाल ही में एक आठ साल की बच्ची पर श्वानों ने हमला किया था, जिसके बाद प्रशासन ने कुत्तों की नसबंदी का अभियान शुरू करने का निर्णय लिया है।
नसबंदी अभियान का उद्देश्य
नगर निगम पहले ही स्वयंसेवी संगठनों के माध्यम से कुत्तों की नसबंदी करा रहा था, लेकिन अब प्रशासन भी इसमें शामिल हो गया है। कलेक्टर आशीष सिंह के अनुसार, प्रशासन ने इस कार्य के लिए पांच डॉक्टरों की टीम तैयार की है, जो प्रतिदिन पांच से दस श्वानों की नसबंदी करेगी और फिर उन्हें सुरक्षित स्थानों पर छोड़ दिया जाएगा।
श्वानों की बढ़ती संख्या
इंदौर में श्वानों की संख्या अब 30 हजार से ज्यादा हो चुकी है। शहर में रोजाना 40 से 50 डॉग बाइट के मामले सामने आ रहे हैं। गर्मी के मौसम में लोग जब सुबह और शाम के समय सैर के लिए बाहर जाते हैं, तो श्वान उन्हें अपना शिकार बना लेते हैं। खासकर बच्चे इस समस्या का सबसे ज्यादा शिकार बनते हैं।
पुरानी समस्या का समाधान
यह पहली बार नहीं है जब श्वानों की बढ़ती संख्या पर चिंता व्यक्त की जा रही है। दस साल पहले भी श्वानों की संख्या 50 हजार से ज्यादा हो गई थी, तब नगर निगम ने युद्ध स्तर पर नसबंदी अभियान चलाया था। अब प्रशासन ने इस अभियान को अपने हाथ में लेकर इसे और प्रभावी बनाने की योजना बनाई है।
इस अभियान से उम्मीद जताई जा रही है कि श्वानों की संख्या पर काबू पाया जाएगा और डॉग बाइट के मामलों में भी कमी आएगी।