उज्जैन । विश्व प्रसिद्ध ज्योतिर्लिंग भगवान महाकाल की नगरी उज्जैन में रविवार को एक शादी समारोह का अलग ही नजारा देखने को मिला। यहां भारतीय संस्कृति से प्रभावित हुए तीन विदेशी जोड़ों की न केवल सनातन रीति-रिवाज से शादी संपन्न हुई वरन इनके सनातनी नाम भी रखे गए। इन जोड़ों ने वैदिक मंत्रों के बीच एक-दूसरे को वरमाला पहनाई और अग्नि के समक्ष सात फेरे लिए। इस मौके पर उन्होंने कहा कि जीवन एक-दूसरे के साथ रहेंगे।
दरअसल, इनमें इटली के डारियो और मार्टिना, अमेरिका के इअन और गेब्रियला तथा पेरू के मॉरजिओ व नेल्मास इंदौर के परमानंद इंस्टीट्यूट ऑफ योगा साइंस एंड रिसर्च इंडिया में योग प्रशिक्षण लेने के लिए आए थे। इंस्टीट्यूट में वे योग गुरुओं से समय-समय पर योग की कई क्रियाओं को समझने के साथ प्रैक्टिस करने लगे। इस दौरान उन्होंने भारतीय परंपरा, सनातन धर्म, पूजा-पाठ, त्याेहार, वैदिक पद्धति, विवाह पद्धति को लेकर गहनता से अध्ययन किया। यहां आने के बाद सभी ने वैदिक पद्धति से हिंदू नाम भी अपनाए हैं। तीन विदेशी युगल ने सनातन धर्म के अनुसार वैदिक पद्धति से विवाह करने का निश्चय किया था।
शनिवार को इंदौर में तीनों के विवाह की आधी रस्में निभाई गईं। इंदौर में ही मेहंदी, हल्दी और महिला संगीत के कार्यक्रम हुए, जिसमें तीनों विदेशी जोड़ों ने जमकर डांस किया। रविवार को सभी उज्जैन के इंदौर रोड स्थित ग्राम नैनोरा पहुंचे। यहां परमानंद योग आनंदमय पीठ में सुबह 10.35 बजे से विवाह की रस्में शुरू हुईं। पूजन होने के बाद तीनों जोड़ों डारियो संग मार्टिना, इअन संग गेब्रियला और मॉरजिओ संग नेल्मास के फेरे हुए। अब तीनों जोड़े नव वर्ष के बाद तीन जनवरी को इंदौर से इटली लौट जाएंगे।
शादी सी रस्में संपन्न होने के बाद मार्टिना ने बताया कि यहां की हल्दी और मेहंदी की रस्म काफी अच्छी है। ऐसे रिवाज पूरी दुनिया में कहीं नहीं हैं। वहीं, अमेरिका के इअन और पेरु से आई गेब्रियल ने कहा कि यहां हमने योग भी सीखा, हमें नया जीवन मिला है। हमें यहां आकर जीवन के नए आयाम सीखने को मिले हैं।
परमानंद योग केंद्र के प्रमुख डॉ. ओमानंद ने बताया कि भारतीय परंपरा में शादी अनुबंध नहीं है। इटली में 60 फीसदी से ज्यादा शादियां टूट जाती है। जब इन सभी ने भारतीय परंपराओं के साथ वैवाहिक जीवन जी रहे लोगों को देखा तो ये काफी प्रभावित हुए। योग के प्रशिक्षण लेने के दौरान इन्होंने एक-दूसरे को ठीक से जाना और जिंदगी भर साथ रहने के लिए दाम्पत्य जीवन में बंधने का निर्णय लिया। रोचक यह कि इन्होंने खुद अपने नाम हिन्दू रखने के लिए सहमति दी और यहां इन सभी को 6 हिंदू नाम दिए गए। डारियो को विष्णु आनंद, मार्टिना को मां मंगलानंद, इअन को आचार्य रामदास आनंद और गेब्रियला को मां समानंद और मॉरजिओ को प्रकाशानंद और नेल्मास को मां नित्यानंद नाम दिया गया। इसके बाद सभी ने परिवार से अनुमति लेकर शादी करना तय किया था।————–