
जालौन : जालौन शहर के कालपी पर रोड स्थित हिंदुस्तान युनिलीवर लिमिटेड की इकाई बंद होने के बाद कर्मचारियों ने प्रबंधन एवं यूनियन पर धोखाधड़ी का आरोप लगाया है कर्मचारियों का आरोप है कि उत्पादन न मिलने का बहाना बनाते हुए कंपनी के प्रबंधन ने फैक्ट्री कर्मचारी को अन्य जगह स्थानांतरित करने की बात कही थी लेकिन उनके साथ धोखाधड़ी की गई और उन्हें जबरन कंपनी से हटा दिया गया। कर्मचारियों ने मुख्यमंत्री को सम्बोधित शिकायती पत्र डीएम को सौपा है।
डीएम को शॉपिंग शिकायती पत्र में कर्मचारियों ने बताया अभी हिंदुस्तान लीवर लिमिटेड उरई फैक्ट्री की स्थापना वर्ष 1989 में की गई थी तब से यह कंपनी मुनाफा देती रही साथ ही कंपनी को भी सब्सिडी कल आप मिलता रहा बाद में इसका नाम हिंदुस्तान युनिलीवर लिमिटेड उरई कर दिया गया हाल ही में मार्च 2025 तक कंपनी सुचारू रूप से चलती रही अप्रैल माह में कंपनी के प्रबंधक जसवीर सिंह भारत चौधरी उत्पल आलम ने बताया कि उरई फैक्ट्री के लिए उत्पादन मिलना संभव नहीं है कुछ कर्मचारियों को अन्य प्रदेशों में स्थानांतरण किया जाएगा जबकि आसपास मौजूद बड़े कारखाने में स्थानांतरण की कोई सूचना नहीं दी गई कंपनी प्रबंधन का उद्देश्य था कि कर्मचारियों का स्थानांतरण ना करके उनकी चटनी कर देंगे इस संदर्भ में यूनियन के पदाधिकारी ने जब प्रबंधन से वार्ता की तो प्रबंधन ने यूनियन के पदाधिकारी को पर लोगों दिखाया और अपने पक्ष में ही समझौता करने के लिए तैयार कर लिया उक्त समझौते की कोई भी सूचना कर्मचारियों को नहीं दी गई कर्मचारियों ने आरोप लगाया कि प्रबंधन और यूनिलीवर द्वारा शॉर्टकट करके कर्मचारियों का उत्पीड़न किया जा रहा है।
कर्मचारियों ने मांग करते हुए कहा कि जून माह से पूर्ण सेवा कल तक पूर्ण वेतन के साथ भुगतान किया जाए और हर माह की भविष्य निधि का हिस्सा भी उनके निधि खाते में जमा किया जाए। साथी बस चटनी के लिए यूनियन पदाधिकारी और प्रबंधन ने मिलकर कर्मचारियों को मजबूर किया और दबाव में लेकर बहुत से कर्मचारियों के जबरन हस्ताक्षर करवा लिए इस मामले की भी निष्पक्ष जांच की जाए विप देते समय कृष्ण कुमार शर्मा वीरेंद्र कुमार मनोज विश्वरी कमलेश कुमार अनिल कुमार विष्णुकांत त्रिपाठी शैलेंद्र कुमार प्रजापति अरुण कुमार तिवारी मलखान सिंह महेंद्र सिंह जयनारायण पाल लक्ष्मी नारायण वर्मा कैलाश चंद्र वर्मा शिव प्रकाश अनिल कुमार रामपाल वर्मा मौजूद रहे