Health Tips : हड्डियों को खोखला बना देती है कैल्शियम की कमी, जानिए इसके लक्षण और समाधान

शरीर को फिट और एक्टिव बनाए रखने के लिए हड्डियों का मजबूत होना बहुत जरूरी है। लेकिन आज की भागदौड़ भरी ज़िंदगी, खराब खानपान और असंतुलित लाइफस्टाइल के कारण कम उम्र में ही हड्डियों की समस्याएं सामने आने लगी हैं। इसका एक बड़ा कारण है कैल्शियम की कमी।

भारत में कैल्शियम की कमी – एक बड़ी चिंता

  • शोधों के अनुसार, भारत के शहरी इलाकों में 59.9% स्कूली बच्चे और किशोर कैल्शियम की कमी से जूझ रहे हैं।
  • यह खनिज न सिर्फ हड्डियों बल्कि दांतों, मांसपेशियों, नाड़ियों और दिल की कार्यप्रणाली के लिए भी जरूरी है।

क्यों होती है कैल्शियम की कमी?

  1. बढ़ती उम्र – उम्र बढ़ने के साथ कैल्शियम का अवशोषण घटता है, खासकर 50 की उम्र के बाद।
  2. महिलाओं में रजोनिवृत्ति (Menopause) – एस्ट्रोजन की कमी से हड्डियां तेजी से कमजोर होती हैं।
  3. खराब आहार – दूध, दही, पनीर जैसे खाद्य पदार्थों की कमी कैल्शियम स्तर को प्रभावित करती है।
  4. किडनी और लिवर की बीमारी – इन समस्याओं से कैल्शियम का संतुलन बिगड़ सकता है।
  5. विटामिन D की कमी – विटामिन D के बिना कैल्शियम ठीक से अवशोषित नहीं होता।

कैल्शियम की कमी के लक्षण

  • मांसपेशियों में ऐंठन
  • हाथ-पैरों में सुन्नता
  • बार-बार फ्रैक्चर होना
  • थकान और भ्रम की स्थिति
  • हड्डियों की कमजोरी और ऑस्टियोपोरोसिस का खतरा

कैल्शियम की पूर्ति के लिए क्या करें?

आहार में शामिल करें ये चीज़ें

  1. दूध, दही और पनीर – ये कैल्शियम के प्रमुख स्रोत हैं।
  2. बादाम – 28 ग्राम बादाम से रोज की जरूरत का 6% कैल्शियम मिल सकता है।
  3. हरी पत्तेदार सब्ज़ियां – पालक, गोभी, कोलार्ड जैसी सब्जियां भी लाभदायक हैं।
  4. सूरज की रोशनी – विटामिन D के लिए रोज सुबह हलकी धूप में कुछ समय बिताएं।
  5. कैल्शियम और विटामिन D युक्त सप्लीमेंट – डॉक्टर की सलाह से सेवन करें।

याद रखें

अगर आप कैल्शियम ले रहे हैं लेकिन विटामिन D नहीं, तो वह शरीर में अवशोषित नहीं हो पाएगा।
इसलिए दोनों का संतुलन बेहद जरूरी है।

बच्चों से बुजुर्गों तक सभी के लिए जरूरी

  • बच्चों में हड्डियों की वृद्धि
  • वयस्कों में हड्डियों की मजबूती
  • बुजुर्गों में फ्रैक्चर का खतरा कम करने में कैल्शियम अहम भूमिका निभाता है।

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