परदे से संसद तक : जाने किन-किन कलाकारों ने अभिनय छोड़ थामा राजनीति का दामन…एक नजर में देखें पूरी लिस्ट

बॉलीवुड और राजनीति का रिश्ता पुराना है। कई सितारों ने सिल्वर स्क्रीन की चकाचौंध छोड़कर राजनीति की राह चुनी और कुछ ने इसमें सफलता भी पाई। हालांकि, उनका स्टारडम भले ही पर्दे तक सीमित रहा, लेकिन राजनीति में उन्हें कुर्सी और प्रभाव का नया मंच मिला। आइए, जानते हैं उन कलाकारों के बारे में जिन्होंने अभिनय छोड़कर राजनीति में कदम रखा और सत्ता के गलियारों में अपनी पहचान बनाई।

1. सुनील दत्त

सुनील दत्त हिंदी सिनेमा के दिग्गज अभिनेता थे, जिन्होंने मदर इंडिया और पड़ोसन जैसी फिल्मों से लाखों दिल जीते। 1984 में उन्होंने कांग्रेस पार्टी के साथ राजनीति में प्रवेश किया और मुंबई नॉर्थ-वेस्ट से सांसद बने। वे पांच बार लोकसभा सांसद रहे और मनमोहन सिंह सरकार में खेल और युवा मामलों के मंत्री भी बने। उनकी बेटी प्रिया दत्त ने भी उनकी विरासत को आगे बढ़ाया और सांसद बनीं।

2. अमिताभ बच्चन

बॉलीवुड के शहंशाह अमिताभ बच्चन ने 1984 में अपने दोस्त राजीव गांधी के कहने पर इलाहाबाद से लोकसभा चुनाव लड़ा और हेमवती नंदन बहुगुणा को हराकर सांसद बने। हालांकि, बोफोर्स घोटाले में नाम आने के बाद उनका राजनीति से मोहभंग हो गया, और उन्होंने अभिनय की दुनिया में वापसी की। उनका राजनीतिक करियर छोटा लेकिन चर्चित रहा।

3. राजेश खन्ना

हिंदी सिनेमा के पहले सुपरस्टार राजेश खन्ना ने 1991 में दिल्ली से लोकसभा चुनाव लड़ा, लेकिन हार गए। 1992 के उपचुनाव में उन्होंने जीत हासिल की और सांसद बने। हालांकि, उनका राजनीतिक करियर लंबा नहीं चला, और वे फिर से फिल्मों की ओर मुड़ गए।

4. गोविंदा

बॉलीवुड के “हीरो नंबर वन” गोविंदा ने 2004 में कांग्रेस के टिकट पर मुंबई नॉर्थ से लोकसभा चुनाव जीता। लेकिन राजनीति में उनकी रुचि कम रही, और 2008 में उन्होंने सियासत से दूरी बना ली। वे फिर से अभिनय में सक्रिय हो गए।

5. जया बच्चन

जया बच्चन ने बॉलीवुड में अपनी एक्टिंग से दर्शकों का दिल जीता और फिर समाजवादी पार्टी के साथ राजनीति में कदम रखा। वे 2004 से राज्यसभा सांसद हैं और संसद में अपनी बेबाक राय के लिए जानी जाती हैं। जया ने अभिनय को पूरी तरह नहीं छोड़ा, लेकिन उनकी प्राथमिकता अब राजनीति है।

6. नीतीश भारद्वाज

महाभारत में भगवान कृष्ण का किरदार निभाकर मशहूर हुए नीतीश भारद्वाज ने 1996 में बीजेपी के टिकट पर जमशेदपुर से लोकसभा चुनाव जीता। हालांकि, बाद में उन्होंने अभिनय में वापसी की, लेकिन उनका राजनीतिक करियर ज्यादा लंबा नहीं चला।

7. थलापति विजय

साउथ सिनेमा के सुपरस्टार थलापति विजय ने हाल ही में घोषणा की कि वे अपनी 69वीं फिल्म के बाद अभिनय छोड़कर पूर्णकालिक राजनीति में आएंगे। उन्होंने अपनी पार्टी तमिळगा वेट्री कषगम शुरू की और 2026 के तमिलनाडु विधानसभा चुनाव में उतरने की योजना बनाई है।

8. जयललिता

तमिल सिनेमा की सुपरस्टार जयललिता ने अभिनय छोड़कर राजनीति को पूर्णकालिक करियर बनाया। वे अखिल भारतीय अन्ना द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (AIADMK) की नेता बनीं और तमिलनाडु की मुख्यमंत्री के रूप में कई बार सेवा की। उनकी राजनीतिक सफलता ने उन्हें “अम्मा” के रूप में जनता के बीच अमर कर दिया।

9. एम. जी. रामचंद्रन (एमजीआर)

तमिल सिनेमा के मेगास्टार एम. जी. रामचंद्रन (एमजीआर) ने अभिनय के साथ-साथ राजनीति में भी अपनी मजबूत पहचान बनाई। 1977 में वे तमिलनाडु के पहले अभिनेता मुख्यमंत्री बने और अपनी पार्टी AIADMK के साथ लंबे समय तक शासन किया। उनकी लोकप्रियता और जनकल्याणकारी योजनाओं ने उन्हें राजनीति में अमर बना दिया।

10. रविकिशन

भोजपुरी सिनेमा के सुपरस्टार रविकिशन ने बीजेपी के साथ राजनीति में कदम रखा और 2019 में गोरखपुर से लोकसभा सांसद बने। वे संसद में कलाकारों के लिए रॉयल्टी की मांग उठा चुके हैं। रविकिशन अभिनय और राजनीति दोनों में सक्रिय हैं, लेकिन उनकी राजनीतिक उपस्थिति मजबूत है।

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