
Etah : लाल बहादुर शास्त्री राष्ट्रीय प्रशासन अकादमी, मसूरी के 100वें फाउंडेशन कोर्स के प्रशिक्षु भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों का क्षेत्र अध्ययन एवं अनुसंधान कार्यक्रम सतत रूप से संचालित है। प्रशिक्षु अधिकारियों ने अपने जनपद भ्रमण के चतुर्थ दिवस, 12 नवंबर को जनपद के विकास खंड आवागढ़ एवं जलेसर का भ्रमण किया।
भ्रमण के दौरान प्रशिक्षु अधिकारियों ने विकास खंड आवागढ़ स्थित प्राचीन आवागढ़ किले का भ्रमण किया। उन्होंने किले के निर्माण काल, स्थापत्य शैली, संस्थापक राजा और उससे जुड़ी ऐतिहासिक घटनाओं की जानकारी प्राप्त की। इसके पश्चात ब्लॉक जलेसर की प्रसिद्ध घुंघरू घंटी निर्माण उद्योग इकाइयों का भ्रमण किया। वहां निर्मित घंटा, घुंघरू, मूर्तियाँ एवं अन्य कलात्मक उत्पादों की निर्माण प्रक्रिया को प्रत्यक्ष रूप से देखा।
तदोपरांत भ्रमण के क्रम में प्रवासी पक्षियों के आवागमन के लिए विश्व विख्यात पटना पक्षी विहार का भी भ्रमण किया, जहाँ उन्होंने विभिन्न प्रवासी पक्षियों की प्रजातियों, उनके आवागमन के मौसम, संरक्षण उपायों और पारिस्थितिकी तंत्र में उनकी भूमिका के बारे में जानकारी प्राप्त की। इस अवसर पर क्षेत्रीय वन अधिकारी ने पटना पक्षी विहार की विशेषताओं एवं वन्यजीव संरक्षण के संबंध में विस्तृत प्रस्तुति दी।
क्षेत्र भ्रमण के दौरान कटफोरा, बसंथा, लोहा सारंग, लकलक, करछिया, बगुला, किलकिला, कौडियाला, मुर्खाब, जल पीपी, छोटा लाल सिर पोचर्ड, बैसुर, सीखपर, सारस, बड़ा सवन आदि विविध प्रजातियों के पक्षियों की जानकारी प्राप्त की गई। इस दौरान एसउभ्एम पीयूष रावत, श्वेता सिंह, तहसीलदार संदीप सिंह, नायब तहसीलदार शाश्वत अग्रवाल, क्षेत्रीय वन अधिकारी मनीषा कुकरेती, बीडीओ पी.एस. आनंद सहित संबंधित विभागों के अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।










