
- एसएसपी अनुराग आर्य और डीएम अविनाश सिंह की पहल रंग लाई, वर्षों पुराना विवाद सुलझा
Bareilly: सावन और मोहर्रम के त्योहारों के समय बरेली के जोगी नवादा क्षेत्र में हर वर्ष उठने वाला तनाव आखिरकार खत्म हो गया है। 2023 में कांवड़ यात्रा के दौरान हुए विवाद ने प्रशासन से लेकर लखनऊ तक के अफसरों की नींद उड़ा दी थी, लेकिन 2025 में पुलिस और प्रशासन की सजग पहल ने भाईचारे की मिसाल कायम कर दी है। अब जोगीनवादा से कांवड़ यात्रा भी निकलेगी और मोहर्रम का जुलूस भी, और वह भी सौहार्द के माहौल में।
जोगीनवादा में वर्ष 2023 के सावन में कांवड़ यात्रा के दौरान दोनों समुदायों में तीखा विवाद हुआ था। पथराव, फायरिंग और लाठीचार्ज की नौबत आई। प्रशासन ने स्थिति को काबू में तो किया, लेकिन इस तनाव की छाया पूरे इलाके पर छा गई। चार मुकदमे दर्ज हुए, और अगले वर्ष 2024 में भी स्थिति नाजुक बनी रही। यहां तक कि सुरक्षा बलों की तैनाती करनी पड़ी।
जोगीनवादा का मामला स्थानीय विवाद न रहकर राजधानी लखनऊ तक प्रशासनिक चिंता का विषय बन गया। हर साल लॉ एंड ऑर्डर की मीटिंगों में जोगीनवादा का नाम चर्चा में रहता। इसी को देखते हुए इस बार जिलाधिकारी अविनाश सिंह और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अनुराग आर्य ने स्थिति को नियंत्रित करने का बीड़ा उठाया।मई से ही प्रशासन ने दोनों समुदायों के बीच संवाद शुरू कराया। पुलिस और प्रशासनिक अफसरों ने जोगीनवादा के हर कोने तक पहुंच बनाई। एडीएम, एसपी नॉर्थ मुकेश चंद्र मिश्र, एसपी ट्रैफिक मो. अकमल खान, सिटी मजिस्ट्रेट और सीओ पंकज श्रीवास्तव ने समझाइश का बीड़ा उठाया।
18 बैठकें कराई गईं, जिनमें गिले-शिकवे खुले दिल से सुने गए। शुरुआत में कुछ तीखी बहसें भी हुईं, लेकिन अधिकारियों की सूझबूझ और शांत संयम ने माहौल को सुलझाया।
बैठक के अंत में दोनों पक्षों ने लिखित समझौता किया कि वे अब एक-दूसरे के आयोजनों में बाधा नहीं डालेंगे, बल्कि सहयोग करेंगे। यह ऐतिहासिक कदम क्षेत्रीय सौहार्द की दिशा में मील का पत्थर बन गया। स्थानीय निवासियों ने इस फैसले को सराहते हुए कहा कि “यह पहल बहुत पहले हो जानी चाहिए थी।”
सीओ तृतीय पंकज श्रीवास्तव ने बताया कि उन्होंने 28 अप्रैल से ही इस मसले को प्राथमिकता में ले लिया था। हर सप्ताह दो बार जोगीनवादा पहुंचकर दोनों पक्षों से सीधे संवाद किया। 18 बैठकों के बाद यह सफलता मिली।
एसएसपी अनुराग आर्य के नेतृत्व में पुलिस ने पिछले वर्ष भी कई पुराने विवादों को सुलझाया था। उदाहरण के तौर पर चक महमूद में 32 साल पुराना पीपल के पेड़ का विवाद, जो हर साल ताज़िया जुलूस के समय रास्ते में बाधा बनता था, उसे तत्कालीन सीओ थर्ड पंकज श्रीवास्तव ने स्थानीय लोगों की सहमति से सुलझाया और पेड़ की डाल काटकर रास्ता साफ कराया गया।जोगीनवादा में इस वर्ष कांवड़ यात्रा और मोहर्रम का जुलूस दोनों निकलेंगे और वह भी प्रशासन की निगरानी में शांति से। क्षेत्रीय लोगों ने जिस समझदारी और संयम का परिचय दिया, वह सराहनीय है।
एसएसपी अनुराग आर्य ने कहा, जोगीनवादा में दोनों पक्षों के लोगों ने सुझबुझ का परिचय देते हुए मोहर्रम और कावड़ शांति से निकालने का वादा किया है। जिन्होंने इसमें सकारात्मक भूमिका निभाई, उन्हें सम्मानित किया जाएगा।
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