
देवरनियां, बरेली। देवरनियां कोतवाली क्षेत्र में अवैध खनन माफियाओं का खेल लगातार तेज होता जा रहा है। जिले के तेजतर्रार जिलाधिकारी अविनाश सिंह के स्पष्ट निर्देशों और सख्त चेतावनी के बावजूद प्रशासन की नाक के नीचे खनन माफिया बेखौफ होकर खुलेआम मिट्टी खनन कर रहे हैं।
हाईलाइट्स :
- रिछा चौकी क्षेत्र में दिनदहाड़े दौड़ रही मिट्टी से लदी ट्रालियां
- पुलिस पर संरक्षण देने के आरोप
- डीएम अविनाश सिंह के आदेशों की खुलेआम उड़ाई जा रही धज्जियां, जिम्मेदार अफसर मौन
ज़मीनी हकीकत यह है कि डीएम के आदेश सिर्फ कागज़ों में सिमट कर रह गए हैं, जबकि रिछा चौकी क्षेत्र में अवैध खनन दिनदहाड़े जारी है। रिछा चौकी और आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों में हर सुबह मिट्टी से लदी ट्रैक्टर-ट्रालियों की कतारें साफ देखी जा सकती हैं। रिछा-जहानाबाद रोड पर सुबह से लेकर दस बजे दिन तक यह ट्रालियां दौड़ती हैं और सारा माल इलाके में ही डंप कर दिया जाता है।
स्थानीय सूत्रों का दावा है कि यह पूरा गोरखधंधा पुलिस की जानकारी में है। यही वजह है कि ट्रैक्टर-ट्रालियों को कोई रोकने वाला नहीं है। सबसे बड़ी विडंबना यह है कि जिन पर कार्रवाई करने की जिम्मेदारी है, वही इस पूरे खेल को नजरअंदाज कर रहे हैं।
देवरनियां कोतवाली क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले मंगदपुर, रिछा और अन्य ग्रामीण इलाकों में खनन माफिया धड़ल्ले से मिट्टी की खुदाई कर रहे हैं। रात के अंधेरे से लेकर दिन के उजाले तक यह सिलसिला बदस्तूर जारी है। सूत्रों के अनुसार, यह कार्यवाही बिना पुलिस की जानकारी के संभव ही नहीं है।
माफिया दिन की शुरुआत होते ही ट्रैक्टर-ट्राली लेकर खेतों या तालाबों की ओर कूच कर देते हैं। खुदाई करके मिट्टी ट्रकों में भरकर विभिन्न निर्माण स्थलों पर भेजी जाती है। यह सारा कार्य अवैध तरीके से किया जा रहा है- न तो खनन विभाग की अनुमति है, न कोई पर्यावरणीय स्वीकृति।स्थानीय लोगों ने आरोप लगाया है कि रिछा चौकी पुलिस और डायल 112 टीम को इस अवैध कारोबार की भनक है।
लोगों का दावा है कि यह पूरा खेल ‘सेटिंग’ के तहत चलता है, जिससे न ट्रैक्टर पकड़े जाते हैं, न किसी पर मुकदमा दर्ज होता है।कुछ लोगों ने यह भी बताया कि कई बार इलाके में मीडियाकर्मी या जागरूक नागरिक इन ट्रैक्टरों की तस्वीरें और वीडियो बनाते हैं, लेकिन पुलिस तक शिकायत पहुंचाने के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं होती।
जिलाधिकारी अविनाश सिंह ने बरेली जिले में अवैध खनन को लेकर सख्त रुख अपनाते हुए सभी उपजिलाधिकारियों और थाना प्रभारियों को निर्देश दिया था कि अवैध खनन की शिकायत मिलते ही तत्काल छापा मारा जाए और जिम्मेदार लोगों पर एफआईआर दर्ज की जाए।इसके बावजूद देवरनियां क्षेत्र में न कोई छापा पड़ा, न कोई ट्राली जब्त हुई। नतीजा यह है कि माफिया और अधिक बेखौफ होकर काम कर रहे हैं और प्रशासन की नाकामी की पोल खुद सड़क पर दौड़ती ट्रालियां खोल रही हैं।
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