गिरफ्तारी के बाद जज के सामने रोने लगे अमिताभ ठाकुर, बोले- मेरी जान बचा लीजिए

Amitabh Thakur Arrested : उत्तर प्रदेश के देवरिया में पूर्व आईपीएस अधिकारी अमिताभ ठाकुर को जेल भेज दिया गया है। जज के सामने पेशी के दौरान अमिताभ ठाकुर फूट-फूट कर रोने लगे और अपनी जान बचाने की गुहार लगाई। इसके बाद उन्हें पुलिस ने हिरासत में लेकर जेल भेज दिया है।

पूर्व आईपीएस अमिताभ ठाकुर, जो पुलिस अधीक्षक पद पर रहते हुए धोखाधड़ी से अपनी पत्नी नूतन ठाकुर के नाम जमीन हड़पने के आरोप में बुधवार को जेल भेजे गए। मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट मंजू कुमारी की अदालत ने आरोपित को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल भेजने का आदेश दिया। आरोपित के साथ अपनी सफाई देते हुए अमिताभ ठाकुर फूट-फूट कर रो पड़े।

सीजेएम की ढांढस बधाने पर उन्होंने कहा, “हुजूर, जेल में मेरी हत्या हो जाएगी, मुझे बचा लीजिए। मुझे 45 मिनट का समय दीजिए, मैं अपनी पूरी बात आपको लिख कर देना चाहता हूं। पता नहीं कल जीवित बचूं या नहीं।”

लखनऊ के तालकटोरा थाना क्षेत्र स्थित आवास विकास कालोनी के निवासी संजय शर्मा ने 12 सितंबर 2025 को राष्ट्रपति, मुख्यमंत्री और प्रमुख सचिव सहित अन्य उच्चाधिकारियों को शिकायती पत्र भेजकर आरोप लगाया था कि 1999 में अमिताभ ठाकुर, जो उस समय देवरिया के पुलिस अधीक्षक थे, ने छल से सरकारी संपत्ति हड़पने का अपराध किया है। उन्होंने बताया कि अमिताभ ठाकुर ने शासकीय प्लाट को अपनी पत्नी नूतन ठाकुर के नाम पर दर्ज करा लिया। विक्रय अभिलेख में अपने नाम के बजाय अपनी पत्नी का नाम नूतन देवी लिखा लिया और बाद में बड़ी रकम लेकर उसे बेच दिया, जबकि उनके पास उसका कोई अधिकार नहीं था।

इस मामले की प्राथमिकी थाना कोतवाली देवरिया में अपराध संख्या 1021/2025 पर दर्ज हुई, लेकिन विवेचना शासन के निर्देश पर एसआइटी लखनऊ को सौंप दी गई।

कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच आरोपित को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया गया। मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट ने पूछा कि क्या उन्हें विधिक सहायता के लिए अधिवक्ता चाहिए तो उन्होंने कहा, “मैं खुद सक्षम हूं, मुझे कोई अधिवक्ता नहीं चाहिए।” फिर अदालत ने पूछा कि क्या उन्हें गिरफ्तारी का कारण बताया गया है तो अमिताभ ठाकुर ने बताया, “नहीं।” इस पर विवेचक से पूछने पर विवेचना अधिकारी घबरा गए।

इसी दौरान आरोपित ने कोर्ट को बताया कि वह कुछ महत्वपूर्ण बात न्यायालय के संज्ञान में लाना चाहता है। उसे डर है कि उसकी जान खतरे में है, क्योंकि रास्ते में उसे तीन जगह अन्यत्र गाड़ियों में शिफ्ट किया गया है। अमिताभ ठाकुर ने कहा, “मुझे आशंका है कि अब मेरा एनकाउंटर हो सकता है। पुलिस ने मुझे शाहजहांपुर रेलवे प्लेटफॉर्म से गिरफ्तार किया और बताया कि आपकी सुरक्षा के लिए पुलिस मुहैया कराई जा रही है।” उन्होंने कहा, “मुझे कोई सुरक्षा नहीं चाहिए।” इसके बाद उन्हें जबरन गाड़ी में बैठा लिया गया। उनका चश्मा टूट गया है और उनका मोबाइल भी पुलिस ने ले लिया है। अमिताभ ठाकुर ने अदालत से अनुरोध किया कि उन्हें कागज और पेन उपलब्ध कराए जाएं ताकि वह अपनी बात लिखकर अदालत के समक्ष रख सकें।

अदालत के बाहर अधिवक्ताओं की भारी भीड़ जमा हो गई थी, वहीं पुलिस की मौजूदगी भी कड़ी थी। न्यायालय परिसर से लेकर कचहरी चौराहे तक भारी पुलिस फोर्स तैनात थी, ताकि किसी भी अप्रिय घटना से निपटा जा सके।

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