
इटावा, । उत्तर प्रदेश के इटावा जिले मे स्थापित सैफई मेडिकल यूनीवसिर्टी को बेहतर स्वास्थ्य सेवाये देने वाला माना जाता है लेकिन कोरोना महामारी के बीच यहाॅ एक गर्भवती कोरोना संक्रमित की बिना जांच के ही डिलीवरी कराये जाने से अफरा तफरी मची हुई है। कोरोना संक्रमित की डिलीवरी कराने वाले डाक्टर समेत 14 मेडिकल स्टाफ को क्वारेंटाइन कर दिया गया है।
असल मे यह कोरोना संक्रमित महिला पडोसी फिरोजाबाद जिले से 21 अप्रैल को लाई गई जिसको बिना परीक्षण के ही डिलीवरी करा दी गई जब महिला की डिलीवरी करा दी गई। उसके बाद उसका कोरोना टेस्ट कराया गया जिसमे उसके पाजीटिव निकलने के बाद उसकी रिर्पोट मे फीमेल की जगह मेल दर्ज कराना भी लापरवाही की श्रेणी मे सुमार हो गया है।
कुलपति प्रो0 डॉ रमाकान्त यादव ने बताया कि 21 अप्रैल को यूनीवसिर्टी में फिरोजाबाद निवासी 22 वर्षीय महिला को लेबर पेन होने पर भर्ती किया गया। शाम को पूरी सावधानी के साथ महिला का एलएससीएस आपरेशन गाइनिक विभाग एवं ऐनेस्थिसिया के डाक्टरों द्वारा पीडियाट्रिशियन कीे उपस्थिति में सफलतापूर्वक किया गया। चूंकि मरीज संदिग्ध थी, उसका सेंपल कोविड-19 जांच के लिए यूनीवसिर्टी के माइक्रोबायलाॅजी विभाग में भेजा गया। जांच रिपोर्ट पाॅजिटिव आने पर महिला को आइसोलेशन वार्ड में रखा गया है एवं आपरेशन टीम के सदस्यों को क्वारेंटाइन किया गया है। इस बात का ध्यान रखा जा रहा है कि कोविड एवं नाॅन कोविड मरीजों का आपस में सम्पर्क न हो सके।
उन्होने बताया कि कोरोना संक्रमित पीड़ितों के लिए अलग से ओटी का सृजन किया गया है। उन्होने बताया कि महिला के नवजात शिशु का भी कोरोना टेस्ट कराया गया है जिसकी रिर्पोट जल्द ही आने की उम्मीद है। उन्होंने बताया कि यूनीवसिर्टी ने पर्याप्त मात्रा में शासन के मानक अनुसार पीपीई किट, एन-95 मास्क, गल्ब्स, सर्जिकल मास्क एवं सेनेटाइजर हैंड रब उपलब्ध कर रखा हैं। प्रतिदिन विश्वविद्यालय द्वारा आवश्यकतानुसार वाहन भेजकर शासन की मदद से हर जरूरी सामान लाया जा रहा है।
वर्तमान में कोविड-19 अस्पताल के हर स्टेशन (ट्रायज, आइसोलेशन, आईसीयू, ओटी, क्वरंटाइन, कोरोना कन्ट्रोल रूम, नान-कोविड इमर्जेंसी ओटी इत्यादि) पर उपलब्ध है एवं अस्पताल प्रशासन अपने कोरोना योद्धाओं के सुरक्षा को लेकर पूरी तरह वचनवद्ध है। पूर्व में कोविड-19 अस्पताल में संचालित डायलिसिस यूनिट के आरओ प्लांट को ट्रामा सेन्टर के भू-तल पर शिफ्ट करने की प्रक्रिया चल रही है जो कि जल्द ही पूरी हो जायेगी।
चिकित्सा अधीक्षक प्रो. डॉ आदेश कुमार ने बताया कि कुलपति के दिशा निर्देशन में कोविड-19 अस्पताल के संचालन के साथ-साथ विश्वविद्यालय के इमरजेंसी एवं ट्रामा सेन्टर में इमरजेंसी सेवाएं भी लगातार 24 घंटे दी जा रही हैं। जिसमें हेड इंजरी आईसीयू, मेडिसिन आईसीयू, इमरजेंसी एवं ट्रामा, लेबर रूम, बर्न वार्ड इत्यादि में सभी जरूरी चिकित्सकीय सेवाएं लगातार दी जा रही हैं एवं इस बात का ध्यान रखा जा रहा है कि कोविड एवं नाॅन कोविड मरीजों का आपस में सम्पर्क न हो सके।












