
Bihar : बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के परिणाम आने से पहले ही राज्य की राजनीतिक भुजाएं सियासत की नई दिशा में संकेत देने लगी हैं। पटना के जनता दल (यूनाइटेड) कार्यालय के बाहर एक पोस्टर चर्चा का केंद्र बन गया है, जिसमें मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की बड़ी तस्वीर के साथ लिखा है, “टाइगर अभी जिंदा है।” यह पोस्टर अब सिर्फ एक प्रतीक नहीं, बल्कि बिहार की राजनीतिक नब्ज़ को बयान कर रहा है।
यह पोस्टर बिहार सरकार में मंत्री रहे रणजीत सिन्हा ने लगाया है। इसमें आगे लिखा है, “दलित, महादलित, पिछड़ा, अति पिछड़ा, सवर्ण, अल्पसंख्यक के संरक्षक टाइगर अभी जिंदा है।” इस संदेश का मकसद साफ है कि भले ही चुनावी माहौल में नीतीश कुमार की सेहत को लेकर अफवाहें फैल रही थीं, लेकिन उनका ‘शेर’ यानी नेता अभी भी पूरी ताकत के साथ जिंदा है।
बिहार में चल रही चुनावी चर्चा के बीच, इस पोस्टर ने स्पष्ट किया है कि नीतीश कुमार का मनोबल और उनकी राजनीति अभी भी मजबूत है। खासतौर पर तब जब कुछ अफवाहें फैल रही थीं कि उनकी तबीयत खराब है या उनका राजनीतिक वजूद खतरे में है। इस पोस्टर के जरिए जेडीयू ने यह संदेश देने की कोशिश की है कि नीतीश कुमार का ‘टाइगर’ अभी जिंदा है और वह अपने वर्गों का संरक्षण जारी रखेंगे।
यह पोस्टर क्यों खास है?
रणजीत सिन्हा जैसे नेताओं ने इस पोस्टर के माध्यम से नीतीश कुमार की ताकत का समर्थन किया है। यह सिर्फ एक पोस्टर नहीं, बल्कि बिहार की राजनीति में एक मजबूत सिग्नल है कि नीतीश का राजनीतिक वजूद अभी भी मजबूत है। पोस्टर में हर वर्ग का जिक्र कर यह दिखाया गया है कि नीतीश कुमार सभी वर्गों के संरक्षक हैं और उनका अस्तित्व अभी भी कायम है।
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