Sultanpur : डॉक्टर की लापरवाही पर चला आयोग का डंडा, मृतका के परिवार को मिलेगा 5.05 लाख मुआवजा

Sultanpur : जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग ने चिकित्सा लापरवाही के एक मामले में सख्त रुख अपनाते हुए एक निजी अस्पताल के डॉक्टर को दोषी ठहराया है। आयोग ने मृतका के परिजनों को 5.05 लाख रुपये क्षतिपूर्ति देने का आदेश दिया है। यह फैसला आयोग के अध्यक्ष राम लखन सिंह चन्द्रौल और सदस्य भारत भूषण तिवारी की पीठ ने सुनाया।

मामला मोतिगरपुर थाना क्षेत्र के पठखौली गांव निवासी संदीप पाठक की पत्नी, स्वर्गीय रुचि पाठक से जुड़ा है। वर्ष 2020 में गर्भवती रुचि पाठक को प्रसव के लिए जिला महिला चिकित्सालय लाया गया था। इसी दौरान खुद को आशा बहू बताने वाली दो महिलाओं हसीना और राजकुमारी ने बेहतर सुविधा का हवाला देते हुए मरीज को स्टार हॉस्पिटल एंड लेप्रोस्कोपिक सेंटर में भर्ती करा दिया।

इलाज के दौरान डॉक्टर अख्तर अहमद और अस्पताल स्टाफ की लापरवाही से ऑपरेशन के समय ही रुचि पाठक की मृत्यु हो गई। परिजनों ने डॉक्टर और अस्पताल को जिम्मेदार ठहराते हुए उपभोक्ता आयोग में परिवाद दाखिल किया था।

दोनों पक्षों की दलीलें और साक्ष्य देखने के बाद आयोग ने माना कि डॉक्टर और अस्पताल की ओर से उपचार में स्पष्ट लापरवाही बरती गई। आयोग ने आदेश दिया कि डॉक्टर अख्तर अहमद मृतका के पति संदीप पाठक को 5 लाख रुपये क्षतिपूर्ति, 3,000 रुपये मानसिक कष्ट और 2,000 रुपये वाद व्यय सहित कुल 5.05 लाख रुपये अदा करें।

संपूर्ण राशि निर्णय की तिथि से दो माह के भीतर जमा करनी होगी, अन्यथा 17 जुलाई 2020 से भुगतान की तिथि तक 6 प्रतिशत वार्षिक ब्याज देना होगा।

यह फैसला लापरवाह चिकित्सकों के लिए कड़ी चेतावनी और पीड़ित परिवारों के लिए न्याय की मिसाल माना जा रहा है।

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