वोकल फॉर लोकल’ की गूंज, PM मोदी ने कहा भारतीय उत्पाद खरीदें और सोशल मीडिया पर करें शेयर

New Delhi : दीपावली से ठीक एक दिन पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देशवासियों से स्वदेशी उत्पाद खरीदने और भारतीय उद्यमों को समर्थन देने की विशेष अपील की है। उन्होंने लोगों से कहा है कि वे इस त्योहार को केवल रोशनी का नहीं, बल्कि 140 करोड़ भारतीयों की मेहनत, रचनात्मकता और नवाचार का उत्सव बनाएं। पीएम मोदी ने नागरिकों से आग्रह किया है कि वे जो भी भारतीय उत्पाद खरीदें, उसे सोशल मीडिया पर साझा करें और गर्व से कहें यह स्वदेशी है!

सोशल मीडिया पर ‘माय गवर्नमेंट इंडिया’ अभियान को मिला पीएम का समर्थन

प्रधानमंत्री मोदी ने अपने एक्स (X) हैंडल पर ‘माय गवर्नमेंट इंडिया’ के एक पोस्ट को साझा करते हुए कहा,

आइए, इस त्योहारी सीजन में 140 करोड़ भारतीयों की मेहनत और नवाचार का जश्न मनाएं। आइए, भारतीय उत्पाद खरीदें और गर्व से कहें यह स्वदेशी है! आपने जो खरीदा है, उसे सोशल मीडिया पर साझा करें और दूसरों को भी प्रेरित करें।

‘माय गवर्नमेंट इंडिया’ का यह कैंपेन लोगों को स्वदेशी उत्पादों को बढ़ावा देने और स्थानीय कारीगरों को समर्थन देने के लिए प्रेरित करता है। पोस्ट में कहा गया, इस दिवाली, आइए केवल स्वदेशी उत्पाद खरीदने और अपने स्थानीय कारीगरों का समर्थन करने का संकल्प लें।
सरकार ने इस पहल के तहत एक वीडियो कैंपेन भी जारी किया है, जिसमें माधुरी दीक्षित, वरुण धवन, और शंकर महादेवन जैसे नामचीन कलाकार नजर आ रहे हैं। वीडियो में कलाकारों को स्थानीय विक्रेताओं से खरीदारी करते और उनके साथ सेल्फी साझा करते हुए दिखाया गया है।

‘स्वदेशी व्यापार’ को पुनर्जीवित करने का पर्व

कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) के राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीन खंडेलवाल ने कहा कि “दिवाली अब केवल दीपों का त्योहार नहीं, बल्कि ‘स्वदेशी व्यापार’ को पुनर्जीवित करने का प्रतीक बन चुकी है।”
उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में देश का व्यापारिक वर्ग अब पूरी तरह ‘आत्मनिर्भर भारत’ के मार्ग पर अग्रसर है।
कैट द्वारा चलाए गए ‘भारतीय सामान, हमारा स्वाभिमान’ नामक राष्ट्रीय अभियान को देशभर में अभूतपूर्व सफलता मिली है। देश के कोने-कोने में व्यापारी अब केवल भारतीय उत्पादों को प्रमोट कर रहे हैं, जिससे लोगों में ‘मेक इन इंडिया’ के प्रति गर्व और आत्मविश्वास की भावना गहराई है।

स्थानीय से राष्ट्रीय तक’वोकल फॉर लोकल’ की गूंज

विशेषज्ञों का कहना है कि मोदी की यह अपील न केवल एक आर्थिक संदेश है, बल्कि सांस्कृतिक आत्मनिर्भरता का भी प्रतीक है। इससे न सिर्फ स्थानीय उत्पादन को प्रोत्साहन मिलेगा, बल्कि छोटे कारीगरों और हस्तशिल्प उद्योगों को भी नई ऊर्जा मिलेगी।
त्योहारी सीजन में बढ़ती खरीदारी के बीच यह पहल ‘वोकल फॉर लोकल’ के मंत्र को एक नई दिशा दे रही है, जिससे भारतीय अर्थव्यवस्था में घरेलू उत्पादों की हिस्सेदारी और मजबूत होगी।

खबरें और भी हैं...

अपना शहर चुनें