
रणजी ट्रॉफी में इस वक्त शानदार मुकाबले जारी हैं, और इन्हीं मैचों के बीच मध्य प्रदेश के कप्तान रजत पाटीदार ने बल्ले से धमाका कर दिया है। उन्होंने पंजाब के खिलाफ शानदार दोहरा शतक जड़कर सभी का ध्यान अपनी ओर खींच लिया।
भारत में चल रही रणजी ट्रॉफी में कई ऐसे खिलाड़ी मैदान में हैं, जिन्हें ऑस्ट्रेलिया सीरीज के लिए टीम इंडिया में जगह नहीं मिली। ऐसे में यह टूर्नामेंट उनके लिए खुद को साबित करने का बेहतरीन मौका है। इन्हीं में से एक हैं रजत पाटीदार — जिन्हें बीसीसीआई की नजरें भले ही नजरअंदाज कर रही हों, लेकिन उन्होंने कप्तानी करते हुए एक कमाल की पारी खेली है।
पंजाब के खिलाफ रजत का धमाका
मध्य प्रदेश और पंजाब के बीच रणजी ट्रॉफी का यह मुकाबला बेहद रोमांचक रहा। पहले बल्लेबाजी करने उतरी मध्य प्रदेश की टीम की शुरुआत खराब रही, लेकिन नंबर पांच पर आए कप्तान रजत पाटीदार ने मोर्चा संभाल लिया। पहले दिन उन्होंने शतक पूरा किया और नाबाद लौटे, जबकि दूसरे दिन उन्होंने इसे दोहरा शतक में तब्दील कर दिया।
रजत की पारी की खास बात यह रही कि उन्होंने अपनी दोहरी सेंचुरी में 25 चौके लगाए, लेकिन एक भी छक्का नहीं मारा — यानी पूरी तरह टेस्ट जैसी सधी और क्लासिक बल्लेबाजी।
वेंकटेश अय्यर का योगदान
मध्य प्रदेश की ओर से वेंकटेश अय्यर ने 73 रन बनाए, जबकि बाकी कोई बल्लेबाज 50 रन तक नहीं पहुंच सका। एक वक्त पर मुश्किल में फंसी एमपी टीम रजत के दोहरे शतक की बदौलत 500 के पार पहुंच गई और मजबूत स्थिति में आ गई।
पंजाब की टीम हुई ढेर
पंजाब की ओर से बल्लेबाजी कमजोर रही। पूरी टीम केवल 232 रन पर सिमट गई। उदय सहारण ने 75 रन बनाए, जबकि बाकी खिलाड़ी संघर्ष करते नजर आए।
एमपी के गेंदबाज सरांश जैन ने शानदार गेंदबाजी करते हुए 31.3 ओवर में 75 रन देकर 6 विकेट चटकाए और पंजाब की कमर तोड़ दी।
टीम इंडिया में वापसी की उम्मीद?
रजत पाटीदार अब तक भारत के लिए तीन टेस्ट मैच खेल चुके हैं, लेकिन छह पारियों में सिर्फ 63 रन बनाने के बाद उन्हें टीम से बाहर का रास्ता दिखा दिया गया था। 2024 में इंग्लैंड के खिलाफ डेब्यू करने वाले रजत का वही सीरीज उनका आखिरी टेस्ट भी साबित हुआ।
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