
Lucknow : उत्तर प्रदेश में मॉनसून की औपचारिक विदाई हो चुकी है, लेकिन बारिश का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा। पिछले कुछ दिनों से लगातार हो रही बौछारों ने प्रदेश भर में उमस भरी गर्मी से लोगों को काफी राहत दी है।
मौसम विभाग (आईएमडी) के अनुसार, आज 5 अक्टूबर और कल 6 अक्टूबर भी बारिश का यह दौर जारी रहेगा, जिसमें पश्चिमी यूपी के जिलों में ज्यादा प्रभाव देखने को मिलेगा। विशेषज्ञों का अनुमान है कि यह असामान्य वर्षा पश्चिमी विक्षोभ के प्रभाव से हो रही है, जो सामान्यतः सर्दियों में सक्रिय होता है।
हालांकि, 7 अक्टूबर से वर्षा की गतिविधियां धीरे-धीरे कम होंगी और 9 अक्टूबर से मौसम पूरी तरह शुष्क हो जाएगा।
पश्चिमी यूपी में ज्यादा बरसात, पूर्वी हिस्सों में हल्की फुहारें
मौसम विभाग की ताजा रिपोर्ट के मुताबिक, 5 अक्टूबर को पूरे प्रदेश में हल्के से मध्यम स्तर की बारिश होने की संभावना है। पश्चिमी उत्तर प्रदेश जिसमें मेरठ, आगरा, सहारनपुर, मुजफ्फरनगर और बरेली जैसे जिले शामिल हैं में 60-80% क्षेत्रों में बादल छाए रहेंगे और 10-30 मिमी तक बारिश दर्ज की जा सकती है। वहीं, पूर्वी यूपी के जिलों जैसे लखनऊ, प्रयागराज, वाराणसी और गोरखपुर में बारिश का दायरा सीमित रहेगा, जहां 20-40% क्षेत्र प्रभावित हो सकते हैं।
तापमान की बात करें तो अधिकतम तापमान 28-32 डिग्री सेल्सियस के बीच रहेगा, जबकि न्यूनतम 22-25 डिग्री के आसपास होगा। आर्द्रता का स्तर 70-85% तक पहुंच सकता है, जिससे मौसम सुहावना लेकिन उमस भरा बना रहेगा। हवा की गति 10-15 किमी/घंटा रहेगी, मुख्यतः पूर्वी-दक्षिणी दिशा से।
6 अक्टूबर को अलर्ट: भारी बारिश और ओलावृष्टि का खतरा
सबसे ज्यादा सतर्कता बरतने की जरूरत 6 अक्टूबर को है। मौसम विभाग ने पश्चिमी उत्तर प्रदेश के लिए ‘भारी वर्षा’ का रेड अलर्ट जारी किया है, जहां कहीं-कहीं 50-70 मिमी तक बारिश हो सकती है। इसके साथ ही गरज-चमक के साथ ओलावृष्टि की भी आशंका है, खासकर सहारनपुर, मेरठ, मुरादाबाद और बरेली मंडलों में। यह ओलावृष्टि किसानों के लिए चिंता का विषय हो सकती है, क्योंकि खरीफ फसलें अभी-अभी कटाई के चरण में हैं। पूर्वी यूपी में भी मध्यम बारिश 20-40 मिमी दर्ज हो सकती है, लेकिन ओलावृष्टि की संभावना कम है।
तापमान में मामूली गिरावट आएगी अधिकतम 27-30 डिग्री और न्यूनतम 21-24 डिग्री। आर्द्रता 75-90% तक हो सकती है, जिससे ठंडक का अहसास होगा। विभाग ने यात्रियों और किसानों को सलाह दी है कि वे मौसम अपडेट पर नजर रखें और बिजली गिरने या जलभराव से बचाव के उपाय करें।
7 से साफ-सुथरा मौसम
7 अक्टूबर से बारिश का दौर थमने लगेगा। प्रदेश के अधिकांश हिस्सों में आंशिक रूप से बादल छाए रहेंगे, लेकिन वर्षा की मात्रा बहुत कम (5-15 मिमी) रहेगी। तापमान सामान्य रहेगा—अधिकतम 30-33 डिग्री और न्यूनतम 23-26 डिग्री। 8 अक्टूबर को भी हल्की बूंदाबांदी संभव है, लेकिन 9 अक्टूबर से मौसम पूरी तरह शुष्क हो जाएगा। धूप खिली रहेगी, आर्द्रता घटकर 50-60% पर आ जाएगी और तापमान धीरे-धीरे बढ़ने लगेगा। यह बदलाव पश्चिमी विक्षोभ के कमजोर पड़ने से होगा, जो सर्दी की दस्तक का संकेत दे रहा है।
प्रभाव और सलाह: किसानों व आमजन के लिए क्या करें?
इस असामान्य बारिश ने न केवल गर्मी से राहत दी है, बल्कि नदियों-नालों के जलस्तर में भी वृद्धि की है, जिससे सूखे की आशंका कम हुई है। हालांकि, अचानक ओलावृष्टि से फसलों को नुकसान हो सकता है। कृषि विभाग ने किसानों को सलाह दी है कि वे अपनी फसलें प्लास्टिक शीट से ढकें और ओलावृष्टि के दौरान घर के अंदर रहें।
आम लोगों के लिए, यह समय सफर के दौरान सावधानी बरतने का है। ड्राइविंग करते समय स्लिपरी सड़कों का ध्यान रखें और बाढ़ प्रभावित इलाकों से बचें। मौसम विभाग की ऐप या वेबसाइट पर रीयल-टाइम अपडेट चेक करते रहें। कुल मिलाकर, यह बारिश शरद ऋतु की शुरुआत का स्वागतयोग्य संकेत है, जो आने वाले दिनों में ठंडी हवाओं का वादा कर रही है।
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