Jhansi : ऑपरेशन कन्विक्शन की उल्लेखनीय सफलता, 27 माह में 1401 अभियुक्तों को सजा

Jhansi : योगी आदित्यनाथ सरकार ने अपराध के प्रति जीरो टॉलरेंस नीति के तहत न केवल दोषियों और अपराधियों को सलाखों के पीछे धकेला, बल्कि अदालत में प्रभावी पैरवी और साक्ष्यों के आधार पर उन्हें सजा भी दिलाई। प्रदेश मुखिया के निर्देश पर अपराधियों को सजा दिलाने के लिए जुलाई 2023 से ऑपरेशन कन्विक्शन चलाया जा रहा है। पुलिस न सिर्फ अपराधियों पर कहर बनकर टूट रही है, बल्कि उन्हें अदालत से कठोर सजा भी दिलवा रही है।

ऑपरेशन कन्विक्शन के तहत झांसी पुलिस ने 27 माह में गंभीर अपराध हत्या, डकैती, लूट, अपहरण और पॉक्सो एक्ट में 1401 से अधिक अपराधियों को कठोर सजा दिलाई है। इस दौरान गंभीर अपराध के 1520 से अधिक मामले चिन्हित किए गए। इनमें से अदालत ने सैकड़ों मामलों का निस्तारण कर अपराधियों को सजा सुनाई है।

ऑपरेशन कन्विक्शन के तहत शासन द्वारा निर्देशित किया गया है कि न्यायालयों में लंबित मामलों की त्वरित सुनवाई कर अधिक से अधिक दोषियों को सजा दिलाई जाए, जिससे अपराधियों में कानून का भय बना रहे और पीड़ितों को शीघ्र न्याय मिल सके। मॉनिटरिंग सेल जनपद झांसी द्वारा प्रभावी पैरवी कर 27 माह में 1401 अभियुक्तों को सजा दिलवाई गई है। एसएसपी बी.बी.जी.टी.एस. मूर्ति प्रतिदिन मॉनिटरिंग सेल की कार्रवाई का अनुश्रवण करते हैं और प्रभावी पैरवी के लिए दिशा-निर्देश भी देते हैं।

एक जुलाई 2023 से अब तक

  • 70 अभियुक्तों को आजीवन कारावास
  • 25 अभियुक्तों को बीस साल की सजा
  • 100 अभियुक्तों को दस से चौदह साल की सजा
  • 90 अभियुक्तों को पाँच से नौ साल की सजा
  • 280 अभियुक्तों को एक माह से पाँच साल की सजा
  • 430 अभियुक्तों को जेल में बिताई गई अवधि की सजा

किन-किन मामलों में हुई सजा

  • 11 माफिया अपराधी
  • पॉक्सो एवं बलात्कार के अभियोग में 75 अभियुक्त
  • सनसनीखेज अभियोग में 720 अभियुक्त
  • अन्य प्रकरणों में 1012 अभियुक्त शामिल

सजा दिलाने में किस थाने को मिली कौन-सी रैंक

सबसे टॉप पर नवाबाद थाना रहा। दूसरे नंबर पर सीपरी बाजार, तीसरे पर चिरगांव, चौथे पर प्रेमनगर, पाँचवे पर रक्सा, छठे पर कोतवाली, सातवें पर मऊरानीपुर, आठवें पर बबीना, नौवें पर गुरसरांय और दसवें पर एरच थाना रहा। वहीं सदर बाजार, महिला थाना, सकरार, शाहजहांपुर और टोड़ीफतेहपुर फिसड्डी साबित हुए।

उल्लेखनीय है

सजा होने के फलस्वरूप अभियुक्त चुनाव नहीं लड़ सकते, सरकारी नौकरी नहीं पा सकते, शस्त्र लाइसेंस और पासपोर्ट नहीं बनवा सकते तथा ठेकेदारी लाइसेंस भी नहीं मिल सकता।

यह टीम करती है पैरवी

एसएसपी बी.बी.जी.टी.एस. मूर्ति के निर्देश पर मॉनिटरिंग सेल में एसपी (ग्रामीण) डॉ. अरविंद कुमार को नोडल अधिकारी बनाया गया है। सेल के प्रभारी चंद्रशेखर दुबे हैं। इनके साथ उपनिरीक्षक सर्वेंद्र कुमार सिंह, मुख्य आरक्षी सलमान पठान, नरेंद्र कुशवाहा, पर्वत सिंह, दीपिका उपाध्याय और कुसुम पटेल शामिल हैं।

खबरें और भी हैं...

अपना शहर चुनें