
Prayagraj : एक अजीब और गंभीर मामला सामने आया है। लड़की बनने की इच्छा में 17 वर्षीय एक प्रतियोगी छात्र ने अपना प्राइवेट पार्ट ही काट लिया। उसने यह कदम घर पर ही उठाया और मरहम-पट्टी की। बाद में स्थिति गंभीर होने पर उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया।
युवक का कहना है कि बचपन से ही उसे लगता था कि वह वास्तव में लड़की है, लेकिन उसका शरीर लड़के का है। इसी मानसिक संघर्ष के चलते उसने यह गंभीर कदम उठाया।
प्रयागराज में सिविल सेवा की तैयारी कर रहे 17 वर्षीय छात्र ने यह कार्रवाई की। 14 साल की उम्र में उसे यह अहसास हुआ कि वह लड़का है, लेकिन अन्य लड़कों की तरह नहीं। उसने गूगल और यूट्यूब पर जानकारी जुटाई कि फिजिकल रूप से लड़का बनने के विकल्प क्या हैं। एक डॉक्टर ने उसे प्राइवेट पार्ट काटने की प्रक्रिया समझाई।
छात्र ने खुद एनेस्थीसिया इंजेक्शन लगाया और सर्जिकल ब्लेड से प्राइवेट पार्ट काटकर मरहम-पट्टी कर ली। जैसे ही इंजेक्शन का असर कम हुआ, दर्द बढ़ गया और उसने चीखना शुरू किया। मकान मालिक ने तुरंत एंबुलेंस बुलाई और उसे बेली अस्पताल में भर्ती कराया। बाद में उसे गंभीर हालत को देखते हुए एसआरएन अस्पताल रेफर किया गया, जहां डॉ. संतोष सिंह उसकी देखरेख कर रहे हैं।
छात्र ने बताया कि मेडिकल स्टोर से एनेस्थीसिया, सर्जिकल ब्लेड और रूई जैसी सामग्री खरीदकर उसने प्रक्रिया पूरी की। उसका कहना है कि अब वह लड़कियों की तरह जीवन जीना चाहता है और पहले जैसा नहीं होना चाहता।
अमेठी जिले का रहने वाला यह छात्र अपने माता-पिता का इकलौता संतान है। उसने सीबीएसई से इंटर तक की पढ़ाई पूरी की और सिविल सेवा की तैयारी के लिए प्रयागराज आ गया था। अब उसका लक्ष्य जेंडर चेंज कर अपनी पहचान के अनुसार जीवन जीना है।
एसआरएन अस्पताल के डॉ. संतोष सिंह ने बताया कि छात्र की हालत स्थिर है और उसका इलाज जारी है।
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