
Mamta Banerjee : पश्चिम बंगाल विधानसभा में हंगामे के चलते शंकर घोष को पूरे दिन के लिए निलंबित कर दिया गया है। यह निलंबन तब हुआ जब मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के प्रस्ताव पर बोलने से पहले ही भाजपा विधायकों ने नारेबाजी शुरू कर दी थी।
4 सितंबर को विधानसभा में काफी हंगामा हुआ। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के भाषण के दौरान विपक्षी भाजपा विधायकों ने विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया, जिससे सदन में तनाव बढ़ गया और स्थिति अनियंत्रित हो गई। इस दौरान भाजपा के चीफ व्हिप शंकर घोष घायल हो गए।
इंडिया टुडे की रिपोर्ट के अनुसार, विधानसभा में तृणमूल कांग्रेस (TMC) की सरकार भाजपा शासित राज्यों में बंगाली प्रवासियों पर हमलों की निंदा करने का प्रस्ताव पारित करने का प्रयास कर रही थी, तभी हंगामा शुरू हो गया। विधानसभा अध्यक्ष बिमन बनर्जी ने भाजपा विधायकों और पार्टी के चीफ व्हिप शंकर घोष को निलंबित कर दिया। इसके बाद उन्हें बाहर निकालने के लिए मार्शल बुलाए गए, जिस पर तनाव उत्पन्न हो गया। भाजपा विधायक “जय श्री राम” के नारे लगाने लगे।
शोरगुल के बीच बनर्जी ने भाषण दिया, जिसमें उन्होंने भाजपा, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर “बंगाल विरोधी” होने और बंगालियों के उत्पीड़न को लेकर चर्चा को रोकने का आरोप लगाया। अपने भाषण में मुख्यमंत्री ने कहा,
“भाजपा भ्रष्ट लोगों की पार्टी है, वोट चोरों की पार्टी है। वे सबसे बड़ी डकैत पार्टी हैं। हमने संसद में देखा कि कैसे उन्होंने हमारे सांसदों को परेशान करने के लिए CISF का इस्तेमाल किया। बंगाल विरोधी भाजपा को हटाओ, देश बचाओ।”
ममता बनर्जी ने यह भी दावा किया कि भाजपा प्रवासियों पर हमलों को लेकर विधानसभा में चर्चा के खिलाफ है। इसी हंगामे के कारण शंकर घोष को पूरे दिन के लिए निलंबित कर दिया गया, जब वे प्रस्ताव पर बोलने से पहले ही नारेबाजी शुरू कर दी। घोष ने जाने से इनकार किया तो विधानसभा मार्शल बुलाए गए, जिन्हें घसीटकर सदन से बाहर निकाल दिया गया।
हंगामे पर प्रतिक्रिया देते हुए, विपक्ष के नेता शुभेंदु अधिकारी ने आरोप लगाया कि ममता बनर्जी की सरकार ने लोकतंत्र की हत्या कर दी है। उन्होंने एक पोस्ट में लिखा,
“आज पश्चिम बंगाल विधानसभा में लोकतंत्र की हत्या कर दी गई। ममता और उनके गुलाम प्रशासन ने लोकतंत्र का गला घोंटा है।”
इसके बाद शुभेंदु अधिकारी विधानसभा पहुंचे और ममता बनर्जी पर तीखा हमला बोला। उन्होंने पूरे TMC काडर को ‘गुंडा’ करार देते हुए कहा,
“पूरा TMC काडर गुंडा है। उन्होंने शंकर घोष पर बेरहमी से हमला किया और उन्हें शारीरिक रूप से प्रताड़ित किया। यह सब चोर ममता बनर्जी की भड़काऊ कार्रवाई का परिणाम है। वह बंगाल की सबसे बड़ी चोर हैं।”
बता दें कि शुरुआत में ही अधिकारी को कार्यवाही में बाधा डालने के कारण विशेष सत्र में पूरे समय के लिए विधानसभा से निलंबित कर दिया गया था।
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