
- निर्माण कार्य के चार दिन के भीतर ढह गया नाला, घटिया सामग्री के प्रयोग का आरोप
- जिलाधिकारी को शिकायती पत्र भेजकर नाला निर्माण में भ्रष्टाचार एवं टेक्निकल जांच की मांग की गई
महाराजगंज: नौतनवां नगर के विकास कार्यों और निर्माण कार्यों में हो रहे भ्रष्टाचार का एक और बड़ा मामला सामने आया है। मुख्य मार्ग पर पीडब्ल्यूडी गेस्ट हाउस के सामने से अस्पताल चौराहे तक करीब एक करोड़ बीस लाख के बजट से निर्माण कराया जा रहा नाला भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया। निर्माणाधीन नाला 4 दिन में ही गुरुवार की शाम करीब 20 मीटर भरभरा कर गिर गया। नाले के गिरते ही ठेकेदार सहित नगरपालिका प्रशासन के जिम्मेदारों में हड़कंप मच गया। भ्रष्टाचार को छुपाने के लिए रातों-रात जिम्मेदारों ने मजदूर लगाकर मलबे को हटा दिया और स्लेप ढालने की शटरिंग कर कमियां छुपाते नजर आए। बावजूद नाला ढहने की जानकारी स्थानीय नागरिकों को हुई तो चर्चाओं का बाजार गरम हो गया। मामले की शिकायत उच्च अधिकारियों को पत्र भेज पूरे निर्माण कार्य की टेक्निकल जांच की मांग की गई है।
नौतनवा नगर के मुख्य मार्ग पर नाला निर्माण के लिए शासन से करीब 1करोड़ 20 लाख रुपए की मंजूरी मिली है। जिसको लेकर नगर पालिका प्रशासन द्वारा तीन भागों में टेंडर प्रक्रिया कराया गया है। नाला निर्माण में लगी कार्यदायी संस्था के भ्रष्टाचार के कारनामे गुरुवार की शाम खुल गई जब नाला भरभरा कर ढह गया। निर्माण कार्य भी एक सप्ताह पूर्व ही शुरू हुआ है। करीब सौ मीटर निर्माण कार्य हुआ होगा इसी दौरान चार दिन पहले बनाया गया नाला गुरुवार की शाम ढह जाने के बाद जिम्मेदारों में भी हड़कंप मच गया। आनन फानन में जिम्मेदार मजदूर लगाकर रातों-रात मलबा हटवा दिया और सुबह होते-होते नाले पर स्लेप की शटरिंग करा कर खड़ा कर दिए।
अपनी कमियों को छुपाने का जिम्मेदारों ने बहुत प्रयास किया लेकिन नाला ध्वस्त होने की जानकारी नागरिकों तक पहुंच गई और चर्चाओं का बाजार गरम हो गया। नागरिकों ने कहा कि नगर में विकास कार्यों में हो रहे निर्माण कार्य एवं नाले के निर्माण में भारी अनियमितता की जा रही है। जिसकी शिकायत कई बार उच्च अधिकारियों तक की गई है लेकिन जिम्मेदार भी कागजों में ही खाना पूर्ति कर मामले को दबा दे रहे हैं।
नौतनवा नगर पालिका के अधिशासी अधिकारी संदीप कुमार का कहना है कि नाला ढह जाने की जानकारी उन्हें नहीं मिली है । यदि इस तरह का मामला हुआ है तो वह जांच कर कार्रवाई अवश्य करेंगे।
डीएम को पत्र भेजकर भ्रष्टाचार एवं टेक्निकल जांच कराने की मांग
नाला निर्माण में भ्रष्टाचार की जानकारी होते ही केंद्रीय उपभोक्ता सहकारी भंडार लिमिटेड के डायरेक्टर प्रवीण त्रिपाठी ने जिलाधिकारी को पत्र भेजकर नाला निर्माण में हो रही भारी भ्रष्टाचार की तकनीकी जांच टेक्निकल एजेंसी से कराने की मांग किया है। पत्र के जरिए आरोप लगाया गया है कि सीवरेज एवं जलनिकासी योजना के अंतर्गत मुख्य मार्ग पर कराया जा रहे नाला निर्माण में घटिया सामग्री से आरसीसी कराया जा रहा है। तकनीकी, वित्तीय एवं प्रशासनिक नियमों का सीधा उल्लंघन है। निर्माण कार्य में उपयोग किया जा रहे सामग्री और निर्माण कार्य की गुणवत्ता में भारी अनियमितता बरती जा रही है। प्रवीण त्रिपाठी ने मामले में जांच कराते हुए दोषी ठेकेदार व अधिकारियों के विरुद्ध भ्रष्टाचार अनिवारण अधिनियम एवं वित्तीय नियमो के उल्लंघन में करवाई किए जाने की मांग किया है।
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