सावधान! अधिक मोबाइल का प्रयोग है हानिकारक, स्वास्थ्य विभाग ने जारी की गाइडलाइन

गाजियाबाद। जहां देश-विदेश में सोशल मीडिया के चलन के बाद बच्चों युवाओं और बड़ों में वेस्टर्न कल्चर अपनाने का कार्य किया जा रहा है। वही सोशल मीडिया के जहां फायदे काफी अधिक दिखाई देते थे। वहीं अब नुकसान अधिक दिखाई दे रहा है। सोशल मीडिया के जरिए युवाओं में माहौल खराब होता हुआ भी नजर आ रहा है। आजकल ज्यादातर युवा पीढ़ी मोबाइल पर समय व्यतीत करते हैं।

हालांकि दैनिक भास्कर संवाददाता एमजे चौधरी ने पूर्व में मोबाइल के अधिक इस्तेमाल से होने वाले नुकसान की खबर को प्रकाशित किया गया था कि सोशल मीडिया और मोबाइल के अधिक यूज से करने से काफी नुकसान होता हुआ नजर आया और युवा रास्ते से भटक रहे हैं। इसकी पुष्टि अब स्वास्थ्य विभाग ने भी की है। जिसका बाकायदा एक पत्र भी जारी किया गया है यानी की एडवाइजरी भी जारी की गई है। स्वास्थ्य विभाग सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार बताया जा रहा है कि मोबाइल के अधिक इस्तेमाल से जहां युवा वर्ग अधिक वल्गर होता दिखाई दे रहा है।

वही सोशल मीडिया के चलन से अपने पराए अच्छा बुरा सही गलत कुछ भी दिखाई नहीं दे रहा। जिससे कहीं ना कहीं घर और परिवार का माहौल भी खराब होता हुआ नजर आता हैं। सोशल मीडिया पर आए दिन सूचना मिलती है कि सास दामाद, भाभी देवर, मामी भांजे, चाची भतीजे के साथ यानी कि कहीं ना कहीं रिश्तो को कलंकित करता हुआ सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म काफी नुकसान भी पहुचाने कार्य कर रहा है। हालांकि स्वास्थ्य विभाग से मिली जानकारी के अनुसार बताया जा रहा है कि अत्यधिक मोबाइल के इस्तेमाल से जहां आंखों में दिक्कत व परेशानी आ रही है।

वही नींद न आने की सिकायत और डिप्रेशन भी अधिक होता हुआ नजर आया है। यहां तक की स्वास्थ्य पर भी मोबाइल के अधिक इस्तेमाल करने से गहरा प्रभाव पड़ रहा है और जब से सोशल मीडिया पर युवा वह बड़े अधिक इस्तेमाल करने लगे हैं। तब से हार्ट अटैक जैसी बीमारी भी सामने आई है। कहीं ना कहीं मोबाइल की अधिक इस्तेमाल से परेशानी ही परेशानी दिखाई दे रही है। क्योंकि युवा वर्ग जहां सोशल मीडिया पर अधिक नजर आ रहा है। वही महिलाएं, युवतियों, युवा लड़को के अलावा बच्चे भी मोबाइल का अधिक इस्तेमाल कर रहे हैं। इस मामले में परिवार को बच्चों से मोबाइल दूर रखना चाहिए, जिससे उनके शारीरिक ग्रोथ को बचाया जा सके।

मोबाइल के अधिक इस्तेमाल से बच्चों के शारिरिक ग्रोथ पर प्रभाव पड़ रहा है वही बच्चों को डिप्रेशन से बचाया जा सके, आंखों की परेशानी से बचाए जा सके और आने वाले भविष्य की परेशानियों से भी बचा जा सके। क्योंकि आए दिन मोबाइल के अधिक यूज करने से सोशल मीडिया पर कुछ ना कुछ ऐसी तस्वीरें और वीडियो सामने आती है जिससे बच्चों पर अधिक प्रभाव पड़ता है। मनोचिकित्सक की सलाह: मोबाइल के अधिक इस्तेमाल करने से सोशल मीडिया पर दिन-रात मोबाइल में लगे रहने से युवाओं और बच्चों का भविष्य भी अंधकार में जाता हुआ नजर आ रहा है। अपने पराए की पहचान नहीं हो रही, अच्छे बुरे की पहचान भी नहीं हो पा रही, यानी कि कहीं ना कहीं इस मोबाइल के अधिक इस्तेमाल करने से काफी गहरा प्रभाव पड़ रहा है।

क्योंकि मोबाइल के अधिक इस्तेमाल करने से ना बच्चों को माता पिता की चिंता है और न माता पिता को बच्चों की सिर्फ मोबाइल पर सोशल मीडिया में ही पूरा दिन बच्चे खराब कर रहे हैं और भविष्य के साथ खिलवाड़ करते हुए दिखाई दे रहे हैं। परिवार को चाहिए कि बच्चों को मोबाइल का कम इस्तेमाल करने की सलाह दें और उन्हें बाकायदा मोबाइल से होने वाले नुकसान की जानकारी से अवगत कराए।

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