
UP Politics on Mukut Katha Vachak : उत्तर प्रदेश में ब्राह्मण समुदाय के लोगों द्वारा इटावा के कथावाचक मुकुट मणि यादव की जाति पूछने को लेकर राजनीति तेज हो गई है। प्रदेश में जातीय राजनीति और सामाजिक विवादों ने राजनीतिक तापमान बढ़ा दिया है। इस मामले ने सियासी रुख तब लिया जब समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने मुकुट मणि का बचाव करते हुए जातीय कार्ड का इस्तेमाल कर दिया। अखिलेश यादव ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कथावाचक मुकुट मणि और उसके साथी के बचाव में ब्राह्मणों पर हमला बोल दिया। इस मामले में अब सीएम योगी भी कूद पड़े हैं। उन्होंने जाति छिपा कर कथावाचक करने वाले मुकुट मणि को लोगों की आस्था के साथ धोखा करने का आरोप लगाते हुए एएसएसपी को फटकार लगाई। जिसके बाद मुकुट और उसके साथी पर केस दर्ज कर लिया।
अखिलेश यादव ने मुकुट कथावाचक पर चला यादव कार्ड
समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने कथावाचक मुकट मणि यादव और उनके साथियों को समर्थन देते हुए उनको आर्थिक सहायता और नए उपकरण प्रदान किए हैं। इस दौरान, उन्होंने सरकार पर आरोप लगाया कि वर्चस्ववादी ताकतें प्रदेश में जातीय हिंसा को बढ़ावा दे रही हैं, और कानून व्यवस्था पूरी तरह से फेल हो गई है।
यूपी में ब्राह्मण vs यादव पर हिंसा को लेकर सीएम योगी नाराज
वहीं, दूसरी ओर, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को इटावा के एसएसपी ब्रजेश श्रीवास्तव को जमकर फटकार लगाई। उन्होंने कहा कि कुछ लोग यूपी में जातीय हिंसा भड़काने की कोशिश कर रहे हैं, और पुलिस उन्हें रोकने में असमर्थ है। योगी ने औरैया और कौशांबी जिलों के एसपी को भी चेतावनी दी कि यदि ऐसी घटनाएं फिर से हुईं, तो अधिकारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
क्या है मामला?
22 जून को इटावा के दादरपुर गांव में कथावाचक मुकट मणि यादव और उनके साथियों पर ब्राह्मण समुदाय के लोगों ने हमला किया। आरोप है कि ब्राह्मण समूह ने कथावाचकों से जाति पूछी, उन्हें दलित बताने का आरोप लगाकर मारपीट की, सिर मुंडवाया, महिलाओं के साथ अभद्र व्यवहार किया और उनके साजो-सामान तोड़ दिए।
ब्राह्मण-यादव जाति पर राजनीति
इस घटना ने राजनीतिक रंग तब ले लिया जब सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने पीड़ितों को समर्थन देते हुए कहा कि वर्चस्ववादी ताकतें उत्तर प्रदेश में हर स्थान पर प्रभुत्व स्थापित करने का प्रयास कर रही हैं। उन्होंने पीड़ित कथावाचकों को आर्थिक मदद दी और कहा कि कानून व्यवस्था को मजबूत करने की जरूरत है। बताया जा रहा है कि अखिलेश यादव मुकुट मणि कथावाचक पर यादव कार्ड खेलकर राजनीति कर रहे हैं।
सामाजिक संगठनों और ब्राह्मण महासभा का विरोध
ब्राह्मण महासभा ने भी इस घटना के खिलाफ आवाज उठाई है। महासभा के प्रदेश अध्यक्ष अरुण दुबे ने आरोप लगाया कि कथावाचकों ने अपनी जाति छुपाई, धार्मिक भावना भड़काई और महिलाओं के साथ अभद्रता की। उन्होंने सरकार और पुलिस पर कार्रवाई न करने का आरोप लगाते हुए, आंदोलन की चेतावनी दी है।