क्यों मुख्यमंत्री योगी को देना पड़ा डीएम और सीएमओ के विवाद में दखल, जानिए क्या था पूरा मामला

उत्तर प्रदेश के कानपुर में लंबे समय से चल रहा प्रशासनिक विवाद आखिरकार खत्म हो गया है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के दखल के बाद विवादित सीएमओ डॉ. हरिदत्त नेमी को पद से हटा दिया गया है और उनकी जगह श्रावस्ती में तैनात डॉ. उदय नाथ को कानपुर का नया मुख्य चिकित्सा अधिकारी नियुक्त किया गया है।

कैसे शुरू हुआ विवाद?

यह टकराव फरवरी 2025 में उस समय शुरू हुआ जब जिलाधिकारी जितेंद्र प्रताप सिंह ने अचानक सीएमओ कार्यालय का निरीक्षण किया और कई वरिष्ठ अधिकारी बिना सूचना के गैरहाजिर मिले। इसके बाद डीएम ने जिले के सामुदायिक और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों का दौरा किया, जहां कई अनियमितताएं, लापरवाही और सेवा गुणवत्ता में भारी गिरावट पाई गई। डीएम ने सीएमओ के खिलाफ शासन को रिपोर्ट भेजकर तत्काल कार्रवाई की सिफारिश की थी।

विवाद में उबाल: ऑडियो-वीडियो क्लिप्स ने बढ़ाया मामला

मामला उस वक्त और गरमाया जब एक कथित ऑडियो क्लिप सामने आई, जिसमें डॉ. नेमी डीएम के खिलाफ आपत्तिजनक भाषा का इस्तेमाल करते सुने गए। इसके बाद एक बैठक में डीएम ने सार्वजनिक रूप से सीएमओ को सभागार से बाहर निकाल दिया। यह वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया, जिससे प्रशासनिक छवि को भी झटका लगा।

सीएमओ का दावा: ‘मैं साजिश का शिकार’

सीएमओ डॉ. हरिदत्त नेमी ने वीडियो जारी कर आरोप लगाया कि उन्होंने स्वास्थ्य विभाग में सुधार के प्रयास किए और एक संदिग्ध फर्म को 30 लाख रुपये का भुगतान रोक दिया था। इसी वजह से उन्हें निशाना बनाया जा रहा है। हालांकि, इस तर्क को विपक्ष और डीएम के समर्थक नेताओं ने सिरे से खारिज कर दिया।

भाजपा में मतभेद, सपा को मिला सियासी मुद्दा

यह विवाद भारतीय जनता पार्टी के भीतर भी फूट का कारण बना। विधानसभा अध्यक्ष सतीश महाना, एमएलसी अरुण पाठक और विधायक सुरेंद्र मैथानी ने सीएमओ का समर्थन करते हुए डिप्टी सीएम को पत्र लिखा। वहीं बिठूर विधायक अभिजीत सिंह सांगा और महेश त्रिवेदी ने सीएमओ पर भ्रष्टाचार और निजी अस्पतालों से गठजोड़ का आरोप लगाया।

विपक्षी दल समाजवादी पार्टी ने इसे भाजपा सरकार की अंदरूनी कलह और प्रशासनिक विफलता बताया। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा, “पहले इंजन टकराते थे, अब गार्ड और कोच भी भिड़ गए हैं।”

सीएम योगी का हस्तक्षेप और फैसला

मामले की गंभीरता को देखते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने स्वयं हस्तक्षेप किया और विवाद को पार्टी की छवि पर असर डालने वाला बताया। शासन ने तत्काल प्रभाव से डॉ. हरिदत्त नेमी को हटाकर डॉ. उदय नाथ को नया सीएमओ नियुक्त कर दिया।

सोशल मीडिया पर जनता की प्रतिक्रिया

सोशल मीडिया पर लोगों ने डीएम जितेंद्र प्रताप सिंह के काम की खूब तारीफ की। कई यूजर्स ने उन्हें ईमानदार और अनुशासित अफसर बताते हुए समर्थन जताया, जबकि सीएमओ समर्थकों ने इसे एक राजनीतिक साजिश बताया।

नए सीएमओ के सामने चुनौतियां

डॉ. उदय नाथ के लिए अब सबसे बड़ी चुनौती कानपुर की बिगड़ी स्वास्थ्य सेवाओं को सुधारना है। डीएम ने साफ कहा कि प्रशासन में अनुशासन और पारदर्शिता बनी रहेगी। इस पूरे विवाद ने यह स्पष्ट कर दिया है कि अब लापरवाही और अनियमितताओं के लिए कोई जगह नहीं बची।

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