जेल जाएंगी लोकगायिका ? नेहा सिंह राठौर पर देशद्रोह का मुकदमा, पहलगाम हमले पर विवादित बयान बना मुसीबत

लोकगायिका और यूट्यूबर नेहा सिंह राठौर एक बार फिर विवादों के घेरे में आ गई हैं. जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले पर उनकी टिप्पणियों ने भारी बवाल खड़ा कर दिया है. लखनऊ के हजरतगंज थाने में उनके खिलाफ देशद्रोह समेत कई गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है. इस एफआईआर को कवि अभय प्रताप सिंह ने दर्ज कराया है, जिनका आरोप है कि नेहा ने अपने बयानों से राष्ट्रीय अखंडता और सांप्रदायिक सौहार्द को चोट पहुंचाई है.

एफआईआर में नेहा सिंह राठौर पर भारतीय न्याय संहिता 2023 की दस धाराओं सहित आईटी एक्ट की धारा 69A के तहत मामला दर्ज किया गया है. इन धाराओं में देशद्रोह, सांप्रदायिक विद्वेष फैलाना और समाज में शांति भंग करने जैसे गंभीर आरोप शामिल हैं. पुलिस का कहना है कि नेहा ने बार-बार दो समुदायों के बीच तनाव पैदा करने वाले वक्तव्य दिए, जिससे माहौल बिगड़ने का खतरा बढ़ा.

नेहा ने क्या कहा?
नेहा ने एफआईआर दर्ज होने के बाद एक्स (पूर्व ट्विटर) पर अपनी प्रतिक्रिया दी. उन्होंने तंज कसते हुए लिखा कि “इतने बड़े लोकतंत्र में एक मामूली लड़की सवाल कैसे पूछ सकती है?” नेहा ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का ‘धन्यवाद’ भी किया. इसके अलावा उन्होंने आर्थिक तंगी का हवाला देते हुए मदद के लिए वकीलों से अपील की और बताया कि उनके बैंक खाते में केवल 519 रुपये बचे हैं.

प्राथमिकी में यह भी आरोप लगाया गया है कि नेहा ने अपने सोशल मीडिया पोस्ट्स के जरिए धार्मिक आधार पर समुदायों के बीच हिंसा भड़काने का प्रयास किया. अभय सिंह की शिकायत के अनुसार, पहलगाम हमले में विशेष रूप से हिंदू पर्यटकों को निशाना बनाए जाने के बावजूद नेहा ने हमले के संदर्भ में भ्रामक और भड़काऊ बातें कही हैं. पुलिस के मुताबिक, उनके बयान समाज में असंतोष और अव्यवस्था फैलाने वाले थे.

पाकिस्तान में वायरल हुआ वीडियो
चौंकाने वाली बात यह है कि नेहा सिंह राठौर के बयान अब पाकिस्तान में भी तेजी से वायरल हो रहे हैं. पाकिस्तानी मीडिया ने उनके बयानों को भारत विरोधी प्रोपेगेंडा के लिए इस्तेमाल करना शुरू कर दिया है. इसी बीच गाजियाबाद के लोनी से भाजपा विधायक नंदकिशोर गुर्जर ने नेहा पर ISI एजेंट होने का गंभीर आरोप भी लगाया है. विधायक का कहना है कि उनके सोशल मीडिया पोस्ट्स भारत में कट्टरपंथी एजेंडा बढ़ाने और पाकिस्तान के लिए सहानुभूति जुटाने का काम कर रहे हैं.

छवि पर डालेगा असर?
पूरे मामले नेहा सिंह राठौर को एक बार फिर राष्ट्रवाद बनाम अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता की बहस के केंद्र में ला खड़ा किया है. जहां एक ओर कुछ लोग उन्हें सत्ता से सवाल पूछने वाली आवाज मानते हैं, वहीं दूसरी ओर कई लोग उन्हें राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए खतरा बता रहे हैं. आने वाले समय में यह देखना दिलचस्प होगा कि यह मामला नेहा के करियर और उनकी सार्वजनिक छवि पर किस तरह का असर डालता है.

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