एक और रिकॉर्ड बनाने की तैयारी : महाशिवरात्रि को तीन करोड़ श्रद्धालु करेंगे संगम में स्नान, पढ़ें पूरा अपडेट

महाकुम्भ नगर । प्रयागराज की पवित्र धरती पर चल रहे विश्व के सबसे बड़े मेले महाकुम्भ में देश—दुनिया के श्रद्धालुओं का आगमन लगातार जारी है। अभी महाकुम्भ के अंतिम स्नान को पांच दिन बचे हैं, लेकिन शुक्रवार को सुबह से ही यहां ऐसे हालात हैं मानो स्नान पर्व का दिन हो। शुक्रवार दोपहर 2 बजे तक 84 लाख से अधिक श्रद्धालुओं ने स्नान किया। महाकुम्भ के तीन अमृत स्नान और दो विशेष पर्व स्नान पर श्रद्धालुओं की संख्या के हिसाब से अनुमान लगाया जा रहा है कि महाशिवरात्रि को अंतिम स्नान के दिन ढाई से तीन करोड़ श्रद्धालु संगम में पुण्य की डुबकी लगा सकते हैं। बता दें, 45 दिन के मेले में प्रतिदिन औसतन 1.52 करोड़ श्रद्धालुओं ने स्नान किया है।

मुख्य स्नान पर्वों पर बढ़ी भीड़ : महाकुम्भ की शुरूआत 13 जनवरी को पौष पूर्णिमा के ​स्नान के साथ हुई। इस दिन 1.70 करोड़ ने संगम में पुण्य की डुबकी लगायी थी। इस स्नान के अगले ही दिन 14 जनवरी को मकर संक्रांति को प्रथम अमृत स्नान था। इस दिन 3.50 करोड़ श्रद्धालु डुबकी लगाकर पुण्य की भागी बनें। 29 जनवरी को मौनी अमावस्या के दिन दूसरा अमृत और महाकुम्भ का तीसरा स्नान था। इस दिन दुखद हादसा भी पेश आया था, जिसमें 30 श्रद्धालु जान गंवा बैठे थे। दूसरे अमृत स्नान के दिन 7.64 करोड़ श्रद्धालुओं ने स्नान किया। 03 फरवरी बसंत पंचमी को तीसरा और अंतिम अमृत स्नान था। इस दिन 2.57 करोड़ श्रद्धालु डुबकी लगाने प्रयागराज पहुंचे। 12 फरवरी माघ पूर्णिमा के दिन महाकुम्भ का पांचवां स्नान सम्पन्न हुआ। इस दिन 2.04 करोड़ श्रद्धालुओं ने आस्था की डुबकी लगायी। इसी दिन स्नान दान के साथ एक महीने से चले आ रहे कल्पवास का भी समापन हुआ।

महाशिवरात्रि पर ढाई से तीन करोड़ श्रद्धालुओं का अनुमान : तीन अमृत स्नान और दो विशेष पर्व स्नान पर श्रद्धालुओं का आंकड़ा देखकर ऐसा अनुमान है कि महाकुम्भ के महाश्विरात्रि पर होने वाले अंतिम स्नान पर ढाई से तीन करोड़ श्रद्धालु पवित्र डुबकी लगाकर पुण्य कमाएंगे। सड़क, रेल और हवाई मार्ग के रास्ते तमाम परेशानियां उठाकर श्रद्धालु प्रयागराज पहुंच रहे हैं।

बसंत पंचमी के बाद भीड़ कम नहीं हुई : प्राय: यह माना जाता कि बसंत पंचमी के स्नान के बाद मेले में भीड़ कम हो जाती है। क्योंकि बसंत पंचमी को अमृत स्नान के बाद अखाड़े अपने अपने गंतव्य की ओर प्रस्थान कर जाते हैं। लेकिन इस बार ऐसा नहीं हुआ। 3 फरवरी को बसंत पंचमी के स्नान के दो दिन बाद तक भीड़ थोड़ी कम रही। लेकिन 6 फरवरी से श्रद्धालुओं का जो रेला प्रयागराज पहुंचना शुरू हुआ, वो अब तक लगातार जारी है। 12 फरवरी को माघ पूर्णिमा के स्नान में 2.04 करोड़ शामिल हुए थे। 13 फरवरी को 85.46 लाख, 14 फरवरी को 96.98 लाख, 15 फरवरी को 1.36 करोड़, 16 फरवरी को 1.49 करोड़, 17 फरवरी को 1.35 करोड़, 18 फरवरी को 1.26 करोड़, 19 फरवरी को 1.08 करोड़, 20 फरवरी को 1.28 करोड़ श्रद्धालुओं ने पवित्र संगम में डुबकी लगायी।

58 करोड़ कर चुके स्नान : मेला खत्म होने के 5 दिन और बचे हैं। दोपहर 2 बजे तक 84.41 लाख श्रद्धालुओं ने संगम स्नान किया। अब तक करीब 58.71 करोड़ श्रद्धालु स्नान कर चुके हैं। प्रतिदिन संगम पहुंचने वालों की संख्या के​ हिसाब से ​महाशिवरात्रि तक संगम पर स्नान करने वालों की संख्या 65 करोड़ के आंकड़े को पार कर नया इतिहास बनाएगी। आज शुक्रवार से महाकुम्भ में भीड़ बढ़ेगी, क्योंकि यह आखिरी वीकेंड है।

सीमए योगी ने दिए निर्देश : सीएम योगी ने गुरुवार को महाकुम्भ से जुड़े अफसरों के साथ मीटिंग की। कहा- बड़ी संख्या में श्रद्धालु संगम आ रहे हैं। व्यवस्था में चूक की कोई गुंजाइश नहीं होनी चाहिए। ऐसी व्यवस्था बनाएं कि श्रद्धालुओं को कम से कम पैदल चलना पड़े।

अमृत और विशेष पर्व स्नान पर श्रद्धालु की संख्या :13 जनवरी (पौष पूर्णिमा, महाकुम्भ की शुरूआत) को 1.70 करोड़14 जनवरी (मकर संक्रांति, प्रथम अमृत स्नान) को 3.50 करोड़29 जनवरी (मौनी अमावस्या, दूसरा अमृत स्नान) को 7.64 करोड़03 फरवरी (बसंत पंचमी, तीसरा और अंतिम अमृत स्नान) को 2.57 करोड़12 फरवरी (माघ पूर्णिमा) को 2.04 करोड़

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