सुखवीर सिंह सुक्खु: विधानसभा में पुलिस विधेयक पारित, राज्य सरकार की अनुमति से होंगे सरकारी कर्मचारी गिरफ्तार

Kajal Soni

हिमाचल प्रदेश सीएम सुखवीर सिंह सुक्खु कानून व्यवस्था को लेकर हाई अर्लट हो गए है इसलिए उन्होंने सभी के लिए कानून सामान रखने को कहा है , दरअसल सीएम सुखवीर सिंह सिक्खु ने कहा है कि रिश्वत, खून जैसे संगीन मामलों में गिरफ्तारी करने से संबंधित मामलों में गिरफ्तारी पर कोई रोक नहीं होगी। ये ऐसे मामलों के लिए है कि कार्यालय में कोई एक अधिकारी द्वेष भावना से किसी कर्मचारी के खिलाफ कुछ गलत कार्रवाई करे तो ही यह प्रावधान लागू होगा। साथ ही कहा कि राज्य सरकार की अनुमति से ही ड्यूटी के दौरान सरकारी कर्मचारियों को गिरफ्तार किया जा सकेगा।

बता दें कि कांस्टेबलों का काडर भी अब राज्य स्तर पर होने की बात कही , दरअसल इस संबध में पहले ही यानि की कल शुक्रवार को पुलिस विधेयक पारित हो गया था ,हालांकि हिमाचल प्रदेश पुलिस अधिनियम में संशोधन पर विधेयक को पारित करने से पहले चर्चा लाई गई थी

इस पर भाजपा विधायक रणधीर शर्मा ने लोक सेवक को किसी भी कार्य पर ड्यूटी करने के दौरान गिरफ्तार करने से पहले सरकार की मंजूरी लेने की धारा डालने पर आपत्ति दर्ज की। उन्होंने कहा कि इससे पुलिस अधिकारी अपना काम ठीक से नहीं कर पाएंगे। भ्रष्टाचार को भी बढ़ावा मिलेगा।

वहीं इस पर पलटवार करते हुए सीएम सुखवीर सिंह सिक्खु ने कहा की भाजपा सरकार कर्मचारियों के हित में ही नही है ,उनकी बात से तो यही जाहिर होता है , खैर आपको क्या लगता है हिमाचल में पुलिस विधेयक का आना सही था या नही ?

चलिए बात करते हैं सीएम सुखविंद्र सिंह सुक्खू की जिन्होंने इस पुलिस विधेयक की नींव रखी। बता दें कि सीएम ने कहा कि ऐसे कई मामले आए दिन सामने आ रहे हैं। इसमें सरकार की अनुमति से ही गिरफ्तारी का प्रावधान होगा। सीएम सुक्खू ने कहा कि रणधीर शर्मा काल्पनिक बुद्धिमत्ता का इस्तेमाल कर रहे हैं। विजिलेंस मैन्युअल को नहीं बदला गया है। कई बार अधिकारी द्वेष भावना से एफआईआर दर्ज कर लेते हैं।

वहीं हिमाचल प्रदेश में अब 25 हजार की कम संख्या होने पर भी जिला परिषद वार्ड बनेंगे। इसके लिए ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री अनिरुद्ध सिंह ने शीत सत्र में हिमाचल प्रदेश पंचायती राज संशोधन विधेयक पारित करने का प्रस्ताव रखा।

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