मुंबई: महाराष्ट्र के वरिष्ठ नेता और राकांपा (राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी) प्रमुख शरद पवार ने राजनीति से संन्यास लेने के संकेत दिए हैं। 83 वर्षीय शरद पवार ने हाल ही में एक बयान में कहा कि अब उन्हें राजनीति से पीछे हटना चाहिए और नई पीढ़ी को नेतृत्व की बागडोर संभालनी चाहिए। पवार का यह बयान विधानसभा चुनाव 2024 के दौरान सामने आया है, जिससे राजनीतिक गलियारों में हलचल मच गई है।
शरद पवार ने कहा, “अब मुझे रुकना चाहिए और नई पीढ़ी को आगे आकर राज्य और देश की राजनीति में अपनी भूमिका निभानी चाहिए।” उनके इस बयान से यह साफ संकेत मिलते हैं कि वह अगले चुनावों में सक्रिय रूप से भाग नहीं लेंगे। पवार ने आगे कहा, “मेरा समय अब समाप्त हो चुका है। मैंने काफी लंबा समय राजनीति में बिताया है और अब मुझे यह सोचने का समय आ गया है कि आने वाले समय में मैं क्या करूंगा।”इस बयान के बाद राजनीतिक हलकों में अटकलें तेज हो गई हैं कि क्या पवार वास्तव में अपनी पार्टी और राजनीतिक यात्रा को अलविदा ले रहे हैं। पवार ने हालांकि यह स्पष्ट किया कि वह पार्टी के मामलों में सक्रिय रहेंगे और नए नेताओं को मार्गदर्शन देने का कार्य करेंगे।
शरद पवार का महाराष्ट्र की राजनीति में एक अहम स्थान रहा है। उन्होंने कई बार राज्य के मुख्यमंत्री के तौर पर अपनी भूमिका निभाई और राज्य की राजनीति में गहरी छाप छोड़ी। उनके नेतृत्व में राकांपा ने कई चुनावों में शानदार सफलता हासिल की है, और उन्होंने कई गठबंधनों की दिशा तय की है।
हालांकि पवार ने यह भी कहा कि अगर पार्टी और राज्य की जनता को उनकी आवश्यकता पड़ी, तो वह हमेशा अपनी भूमिका निभाने के लिए तैयार हैं, लेकिन अब उनका प्राथमिक उद्देश्य नए नेताओं को तैयार करना और उन्हें आगे बढ़ाना होगा।
साथ ही, पवार ने यह भी कहा कि वह चुनावी राजनीति में अपनी सक्रियता कम करेंगे और पार्टी के भीतर नेतृत्व के लिए नए चेहरों को तैयार करने की दिशा में काम करेंगे। उनका यह बयान यह भी दर्शाता है कि राकांपा में अब नेतृत्व का स्थान नए नेताओं के लिए खोला जा सकता है।
अब यह देखना दिलचस्प होगा कि 2024 के विधानसभा चुनाव में राकांपा और शरद पवार की राजनीतिक भूमिका किस तरह से बदलती है और क्या उनका यह निर्णय पार्टी के भविष्य को प्रभावित करेगा।