लखीमपुर : गांववासियों को नहीं मिल रही चिकित्सा सुविधा

लखीमपुर ग्रामीणों ने उचौलिया मे सीएचसी बनाने की मांग की

लखीमपुर खीरी। उचौलिया इलाके से निकले लखनऊ- दिल्ली फोरलेन राष्ट्रीय राजमार्ग पर हादसों में घायलों को और जिले के सीमावर्ती गांवों के निवासियों को सीएचसी पसगवां से अधिक दूरी के चलते चिकित्सा सुविधा समय पर नहीं मिल पा रही है। जिससे हादसों में घायलों और सीमावर्ती गांवों के गंभीर रूप से बीमारों की जान बचाने में तीमारदारों को डॉक्टर से अधिक भगवान भरोसे रहना पड़ता है। पीएचसी उचौलिया में सीएचसी के लिए पर्याप्त जमीन भी है। लोगों ने उचौलिया मे सीएचसी बनाने की मांग की है। उचौलिया क्षेत्र से निकले लखनऊ दिल्ली फोरलेन राष्ट्रीय राजमार्ग का करीब दस किलोमीटर का इलाका दुर्घटनाओं के लिहाज से बेहद संवेदनशील है। कस्बे से 2 किलोमीटर दूर पश्चिम दिशा मे शाहजहांपुर जिले की सीमा और 8 किलोमीटर दूर पूरब की ओर राष्ट्रीय राजमार्ग पर उचौलिया थाना क्षेत्र के इलाके में अक्सर दुर्घटनाएं होती रहती हैं।

हादसा होने पर पहले तो 108 एंबुलेंस के पहुंचने में ही समय लग जाता है। इसके बाद दुर्घटना में घायलों को 108 एंबुलेंस यहां से सीएचसी पसगवां ले जाती है। इसके बाद उनको हालत गंभीर होने पर शाहजहांपुर रेफर किया जाता है। जिसके चलते घायलों का घंटों तक समुचित इलाज नहीं हो पाता है। जिससे कई बार घायलों की जान जोखिम में पड़ जाती है। यही मुसीबत क्षेत्र के सीमावर्ती गांवों की हजारों की आबादी के सामने है। सीएचसी पसगवां से अधिक दूरी के चलते मरीजों को चिकित्सा सुविधा समय पर नहीं मिल पा रही है। जिसके चलते कई बार गंभीर मरीजों की जांच पर बन आती है। जिला के सीमावर्ती गांवों की दूरी सीएचसी पसगवां 30 किलोमीटर तक है।

पसगवां ब्लॉक के सीमावर्ती गांव पिपरोला, हरिहरपुर बंजरिया, लालपुर, किरियारा, किरियारा, महमदपुर ताजपुर, शिवपुरी, रामपुर ग्रंट, शंकरपुर, कठिघरा, किशनपुर जमुनी आदि की दूरी सीएचसी पसगवां से 20 से 30 किमी तक है। जिसके कारण गंभीर हालत मरीजों को समय पर इलाज नहीं मिल पाता है। 108 एंबुलेस से सीएचसी लाने और समुचित उपचार में अत्यधिक समय लग जाता है। थाना बनने के बाद उचौलिया पुलिस को मारपीट के मामलों और हादसों में घायलों को समय पर अस्पताल पहुंचाने में मशक्कत करनी पड़ती है। जिसके चलते क्षेत्र के लोगों के लिए चिकित्सा सेवाएं दुर्लभ हैं। क्षेत्र के लोगों की मांग है कि चिकित्सा सेवाएं समय पर मिल सकें। इसके लिए यहां सीएचसी बनाई जाये।

वर्जन

इस संबंध में सीएमओ लखीमपुर खीरी संतोष गुप्ता से जानकारी लेने पर उन्होंने बताया है कि सीएचसी केवल ब्लॉक स्तर पर ही बनती हैं थाने के स्तर से नहीं। लगभग हर ब्लॉक में एक सीएचसी है उचौलिया पीएचसी को सीएचसी में तब्दील करना असंभव है।

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उचौलिया पीएचसी पर डॉ ना होने के संबंध में उन्होंने बताया है कि ट्रांसफर सीजन शुरू हुआ है 30 जून तक लिस्ट आ जाएगी और उसी में से ही उचौलिया पीएचसी में डॉक्टर की नियुक्त की जाएगी।

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