पटना । बिहार की राजनीति में एक बड़ा फेरबदल हुआ है, जिसका असर लोकसभा चुनाव में देखने को मिलने वाला है। दरअसल जाप प्रमुख पप्पू यादव ने पार्टी का विलय कांग्रेस में कर महागठबंधन में एंट्री कर ली है। उन्होंने यह फैसला आरजेडी प्रमुख लालू यादव और तेजस्वी यादव राबड़ी आवास में मुलाकात के बाद लिया है।
बिहार की राजनीति को मथने का काम कर रहे पप्पू यादव की पार्टी जन अधिकार पार्टी का बुधवार को कांग्रेस में विलय हो गया है। इससे एक दिन पहले पप्पू यादव ने आरजेडी प्रमुख लालू और तेजस्वी से मुलाकात कर अपनी इच्छा जाहिर की थी। सूत्रों की मानें तो लालू यादव ने ही पप्पू यादव को कांग्रेस के साथ जाने को कहा और पूर्णिया से चुनाव लड़ने की सलाह दी है।
पप्पू यादव ने सोशल मीडिया पर पोस्ट करते हुए कहा कि उनकी पितातुल्य लालू यादव और भाई तेजस्वी के साथ पारिवारिक माहौल में मुलाकात हुई। इस दौरान भाजपा को हराने की रणनीति पर चर्चा की गई। बिहार में गठबंधन को मजबूत करने और सीमांचल, कोसी, मिथिलांचल में सौ फीसदी सफलता हासिल करने पर विचार किया गया। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि मेरी विचारधारा हमेशा कांग्रेस की विचारधारा के करीब रही… राहुल गांधी संघर्ष के प्रतीक हैं और उन्होंने देश में एक उम्मीद जगाई है। अपनी पोस्ट में उन्होंने कहा, कि कांग्रेस और लालू यादव मिलकर 2024 चुनाव जीतेंगे और 2025 भी जीतेंगे।
यहां बतलाते चलें कि पप्पू यादव की पत्नी रंजीत रंजन भी कांग्रेस नेता हैं और वह वर्तमान में राज्यसभा सदस्य हैं। ऐसे में कयास लगाए जा रहे हैं कि पप्पू यादव कांग्रेस की टिकट पर बिहार की पूर्णिया सीट से लोकसभा चुनाव लड़ सकते हैं। पूर्णिया से पप्पू यादव की दावेदारी इसलिए भी बनती है कि वो यहां लगातार चुनाव प्रचार कर रहे हैं और जनसभाएं ले रहे हैं। यह अलग बात है कि पप्पू यादव ने खुद चुनाव लड़ने की फिलहाल इच्छा जाहिर नहीं की है।