भोपाल कोर्ट में सरेंडर करने पहुंचे थे आरोपी, पुलिस ने लिया रिमांड पर
भोपाल । इंडियन पोटास लिमिटेड (आईपीएल) के एरिया मैनेजर मनोज रघुवंशी द्वारा 30 नवंबर 2023 को अपने अयोध्या नगर स्थित घर में जहर खाकर आत्महत्या किये जाने के मामले में पुलिस ने करीब सात महिनो बाद सात में से तीन आरोपियो को गिरफ्तार किया है। हैरानी वाली बात यह है कि इन तीन आरोपियो को भी पुलिस ने उस समय गिरफ्तार किया जब वह खुद ही तीनों भोपाल कोर्ट में गुरुवार दोपहर को सरेंडर करने पहुंचे थे। वहीं मनोज की आत्महत्या के मामले में पुलिस ने तीन महीने चली लंबी जॉच के बाद मृतक मनोज के साले तत्कालीन थाना प्रभारी और सब इंस्पेक्टर गौरव रघुवंशी सहित 6 लोगों पर 1 मार्च 2024 को खुदकुशी के लिए उकसाने का केस दर्ज किया था। गिरफ्तार आरोपियो में विदिशा कोतवाली के तत्कालीन थाना प्रभारी और सब इंस्पेक्टर गौरव रघुवंशी मृतक की पत्नी ज्योति और साले पिंटू उर्फ देवेंद्र के नाम शामिल है।
पुलिस का कहना है कि मुखबिर से मिली सूचना पर तीनों आरोपियो को सरेंडर से पहले कोर्ट के बाहर से हिरासत में ले लिया गया था। बाद में तीनो आरोपियों का मेडिकल कराने के बाद उन्हें कोर्ट में पेश करते हुए तीन दिन की रिमांड पर लिया गया है। पुलिस आरोपियो से प्रकरण में जुड़े साक्ष्य जब्त करने के साथ ही यह जानकारी जुटायेगी कि फरारी के दौरान वह कहां और किस के पास रहे। मिली जानकारी के मुताबिक अभिनव होम्स,अयोध्या नगर में रहने वाले 40 वर्षीय मनोज रघुवंशी पिता तूफान सिंह रघुवंशी इंडिया पोटाश लिमिटेड कंपनी में एरिया मैनेजर की नौकरी करते थे। उनके पिता पुलिस विभाग से सेवानिवृत्त हैं, वहीं बड़ा भाई भोपाल पुलिस में हवलदार हैं। मनोज की शादी 11 साल पहले ज्योति रघुवंशी से हुई थी। उसके परिवार में पत्नी ज्योति के अलावा नौ साल का एक बेटा अक्ष है। मनोज पहले माता-पिता और भाई के साथ रहते थे, लेकिन पारिवारिक कलह के चलते वह माता-पिता से अलग अपने परिवार के साथ अभिनव होम्स में रहने लगे थे। खुदकुशी से पहले उनका अपनी पत्नी के साथ विवाद हुआ था,दोनों थाने पहुंचे, जहां उनकी काउंसिलिंग कराई गई। अगले दिन पत्नी विवाद करने के बाद बच्चे को लेकर मायके जाने लगी वहीं मनोज ने जहरीला पदार्थ खा लिया। इसके बाद मनोज को इलाज के लिए हबीबगंज स्थित निजी अस्पताल पहुंचाया गया कुछ घंटे चले इलाज के बाद उनकी मौत हो गई। मर्ग कायम कर पुलिस ने आत्मत्या के कारणो की जॉच शुरु की।
पड़ताल में सामने आया कि मृतक मनोज रघुवंशी ने आत्महत्या से पहले एक वीडियो बनाने के साथ ही सुसाइड नोट भी लिखा था। सुसाइड से पहले बनाए वीडियो में पत्नी ससुराल वालों और एसआई की प्रताड़ना का जिक्र किया था। विदिशा कोतवाली में पदस्थ सब इंस्पेक्टर गौरव रघुवंशी और रिटायर्ड एएसआई राम सिंह पर भी बार-बार मनोज को धमकाते और उसके साथ ही उसके भाई पवन रघुवंशी पर झूठी एफआईआर दर्ज करवाकर फंसवाने की धमकी देने के आरोप लगाये गये थे। विदिशा कोतवाली में पदस्थ सब इंस्पेक्टर गौरव रघुवंशी मनोज की पत्नी ज्योति और ससुराल वालों का साथ देते हुए मनोज को ससुराल वालों के नाम पर प्रॉपर्टी नहीं करने पर उसे और उसके भाई पर झूठा मामला दर्ज करने की धमकी देता था। उस समय पुलिस ने जांच के आधार पर मृतक मनोज रघुवंशी की पत्नी ज्योति रघुवंशी, गीता रघुवंशी, कांति बाई रघुवंशी,ज्योति के रिश्तेदार रिटायर्ड एएसआई राम सिंह रघुवंशी, मौसा सुसर का बेटा विदिशा के कोतवाली में पदस्थ एसआइ टीनू उर्फ गौरव रघुवंशी, टिंकु उर्फ अविनाश रघुवंशी और साले पिंटू उर्फ देवेंद्र रघुवंशी पर आत्महत्या के लिए उकसाने की धाराओं में एफआइआर दर्ज की थी। मामला दर्ज होने के बाद सभी आरोपी फरार चल रहे थे, जिनकी गिरफ्तारी पर इनाम भी घोषित किया गया था।
यह लिखा था मृतक ने सुसाइड नोट में
30 नवंबर 2023 को अपने अयोध्या नगर स्थित घर में खुदकुशी से पहले मनोज ने सुसाइड नोट लिखा था, जिसमें उन्होंने लिखा कि मैं मरना नहीं चाहता। पत्नी, उसके मौसेरे भाई और मौसा-मौसी ने मजबूर कर दिया। इन्हीं के कारण मैं आत्महत्या कर रहा हूं। ये लोग मुझसे लाखों रुपए ले चुके हैं। पत्नी दबाव बनाती है कि बेटे को तुमसे तभी मिलने दूंगी, जब अपनी मां से संपत्ति में हिस्सा लेकर बच्चे के नाम कर दोगे। बेटे अक्षय से बेहद प्यार करता हूं। भाई सारी संपत्ति तुम रख लेना। पत्नी को कुछ मत देना… कुछ भी नहीं। इस मामले में सुसाइड का वीडियो भी सामने आया था। 6 मिनट का वीडियो मोबाइल फोन में शूट किया था। जिसमें उसने पत्नी ज्योति और उसके 6 रिश्तेदारों की प्रताड़ना से तंग आकर आत्महत्या करने की बात कही है। पुलिस ने इस वीडियो को भी जब्त किया था।